Tuesday, January 29, 2013

तन मन धन सब तुम्हारा है-3

तन मन धन सब तुम्हारा है-3

गतान्क से आगे..................
जे भी यही चाहता था की राशि खुद चड्डी को नीचे करने की जगह उसे नीचे करने
दे. ओर अपनी इच्छा पूरी होते ही जे ने राशि की चड्डी के एलास्टिक मे दोनो
तरफ से उंगली डाली ओर एक झटके मे उसे घुटनो तक उतार दिया. इतना तो राशि
ने भी नही सोचा था उसने तो सोचा था की जय उसकी चड्डी थोड़ी सी ही नीचे
करेगा इतनी की उसे गांद आसानी से नज़र आने लगे पर जे नो तो उसे पूरा नंगा
कर दिया था उसकी गांद तो एकदम फूल की तरह खिल कर उसके सामने आ ही गई थी
उसकी चूत भी दोनो टाँगों के बीच मे से उसे नज़र आने लगी थी. वो चूत को
अभी उसे नही दिखना चाह रही थी वो अभी उसे ओर तड़पाना चाहती थी पर अब क्या
कर सकती थी. एक बार उसने कोशिश की की किसी तरह वो अपनी चड्डी को वापस उपर
खिच सके उसने जैसे ही चड्डी को उपर खींचने की कोशिश की तो चड्डी उपर हो
नही रही थी उसीकि छड़ी उसके घुटनो मे फँस गई थी उसने घुटनो से चड्डी उपर
करने के लिए टांगे थोड़ी सी चौड़ी की तो जे ने मौका देख कर उसकी चड्डी
पूरी तरह से नीचे कर दी. ओर साथ ही उसकी चूत ओर खुल कर दिखने लगी.
हाए राम तुमने तो मुझे पूरा नंगा कर दिया. किसी लड़की की मजबूरी का ऐसे
फायडा उठाते है क्या.
पर जय ने उसकी बातों का किसी तरह का कोई जवाब नही दिया उसने जब मूड कर
देखा तो पाया जय तो अपने कपड़े उतार रहा है सारे कपड़े उसने जल्दी से
उतार दिए थे बस अब वो अपनी चड्डी उतार रहा था.
राशि उसे देख कर मान ही मान बहुत खुश हो रही थी पर साथ ही उसे दर्शाना
नही चाहती थी की उसे इस बात का ही इंतजार है ओर वो यहाँ पर चूड़ने ही आई
है. वो बोली "अरे ये तुम क्या कर रहे हो, तुम्हे शर्म नही आती पहले तो एक
लड़की को मजबूर करके नंगा कर दिया ओर जब वो बेचारी अपने कपड़े पहनने की
कोशिश कर रही है तो तुम उसकी मदद करने की जगह खुद नंगे हो रहे हो. ये
क्या हरकत है चलो कपड़े पहनो ओर मुझे भी पहनाओ पर पर ना तो राशि ने उसे
रोकने की कोशिश की ना ही खुद अपनी चड्डी को उपर किया वो तो जैसे झुकी हुई
खड़ी थी उसी तरह खड़ी रही. जिससे उसकी चूत जय को सॉफ तौर पर नज़र आती
रहे. ओर वो ललचाता रहे.
क्या हुआ कहाँ हो तुम अभी तक तुमने कपड़े क्यू नही पहने यार प्लीज़ कम से
कम अपने इस औजार को तो छिपा लो ये मेरी तरफ अकड़ रहा है उसने जय को
उकसाने को कहा. ओर प्लीज़ जल्दी से देख कर बताओ ना की चोट तो नही लगी है.
फिर तुम चाहे कपड़े पहनो या नं पहनो मैं तो कपड़े पहन लू. देखो ना प्लीज़
ओर ऐसा कहते हुए उसने अपनी गांद अदा से मटका दी. अब जय उसके पास आया ओर
उसकी गांद पर हाथ फिरने लगा. ओर फिर वो पीछे बैठ गया ओर उसके दोनो
चुततादों को चौड़ा करके उसकी गांद के च्छेद को देखने लगा. राशि अब बहुत
खुश थी क्यूंकी अब उसे पता था की वो चूड़ेगी ही चूड़ेगी. क्यूंकी अब जे
उसकी गांद का मुआयना जो कर रहा है.

कुच्छ देर तक तो जे उसकी गांद का खूबसूरत भूरा छेद देखता रहा फिर उसने
आगे बढ़ते हुए उसकी गांद के च्छेद पर अपनी ज़ुबान रख दी. राशि इस बात की
तो बिल्कुल आशा ही नही कर रही थी. एक दम से उसके बदन मे सिरहन दौड़ गई.
वो काँप उठी इस आनंद के हिलोरे से उसकी आँखें बंद हो चुकी थी. जय अब उसकी
गांद से ले कर चूत तक लगातार चाते जा रहा था. ओर वो इस आनंद के सागर मे
डुबकी लगा रही थी ओर सोच रही थी की मर्द तो मर्द ही होता है उसकी हर बात
मे आनंद होता है.
ओर वो आज पूरी तरह मज़े लेने कीआ इरादा करके ही आई थी. अब बस उसे इंतजार
था तो जय के लॅंड का जो की उसकी चूत से बस कुच्छ ही दूर था ओर जिसके वो
दर्शन तो कर ही चुकी थी जे ने उसकी चड्डी को पूरी तरह स उसकी टाँगों से
निकल दी थी ओर अब वो एकदम नंगी जे के सामने थी ओर अब उसने फ़ैसला की या
की अब ओर नखरे करने की जगह मज़े लेने चाहिए ओर वो जय से चिपक गई. उसकी
चूंचिया जय की च्चती मे धँस गई थी ओर उसकी चूत के मुहाने पर जय का लॅंड
टक्कर मार रहा था. उसने अपने होठों को जय के होतो पर रख दिया ओर एकदम कस
कर उसकी चुम्मि लेने लगी. उसने जय का उपरी होत लगभग काट ही लिया था. जय
भी उसमे खो सा गया था.
फिर वो नीचे घुटनो के बाल बैठ गई ओर उसने जय के लॅंड को अपने मूह मे ले
लिया ओर उसे बेतहाशा चूसने लगी. जे तो सोच रहा था की उसे राशि को लॅंड
चूसने के लिए मानना पड़ेगा ओर पता नही वो हाँ करेगी या नही पर यहाँ तो
नज़ारा ही अलगा है राशि खुद आगे हो कर उसके लॅंड को चूस रही है. वो भी इस
अदा से की उसका मूह खुला का खुला रह गया था. अब धीरे धीरे उसके मूह से
आहे निकालने लगी है.
आआआः राश्िीीईईईईईईईईईईईईईईईईईईईईई मेरी ज़ाआाआआअँ ओर ज़ोर से चूस पूरा
नचोड़ दे इसे. आआहह.
अब जे ने राशि के सर को पकड़ कर अपने लॅंड ऑर लगा दिया ओर आगे पीछे करने
लगा. राशि समझ गई की उसे बहुत मज़ा आने लगा है ओर वो नही चाहती थी की जय
अभी अपना वीर्या निकल ले. उसने जय के लॅंड को अपने मूह से बाहर निकल
दिया. जय तो जैसे आसमान से गिर पड़ा हो. एकदम से उसने आँखें खोली ओर राशि
की तरफ देखने लगा. पर तब तक राशि ने बाथरूम मे लगे वाश्बेसिन के दोनो
किनारों पर अपने हाथ लगा कर. झुक कर खड़ी हो गई थी जिसके कारण उसके सामने
चूत पूरी खुल कर दिखाई दे रही थी. ओर फिर उसने अपनी दोनो टाँगों को चौड़ा
कर लिया ओर पीछे मूड कर जय की तरफ देखने लगी

जय तो जैसे आसमान से गिर पड़ा हो. एकदम से उसने आँखें खोली ओर राशि की
तरफ देखने लगा. पर तब तक राशि ने बाथरूम मे लगे वाश्बेसिन के दोनो
किनारों पर अपने हाथ लगा कर. झुक कर खड़ी हो गई थी जिसके कारण उसके सामने
चूत पूरी खुल कर दिखाई दे रही थी. ओर फिर उसने अपनी दोनो टाँगों को चौड़ा
कर लिया ओर पीछे मूड कर जय की तरफ देखने लगी
जय भी अब तक समझ चुका था की चुदाई को राशि तरस रही है ओर अब ज़्यादा देर
करना घातक हो सकता है ओर वो जो इतने दिन से चिड़िया को दाना दल रहा था वो
चिड़िया अब उसके जाल मे फँश चुकी है ओर अब वो जैसे चाहे वैसे उसे चोद
सकता है. ओर उसने झट से अपने लॅंड को उसकी चूत पर लगा दिया. राशि की चूत
कुच्छ तो खुल चुकी थी टांगे चौड़ी करने के कारण बाकी राशि ने जैसे ही
महसूस किया की लॅंड उसकी चूत के द्वार पर दस्तक दे रहा है तो उसने अपने
दोनो हाथों से चूत के दोनो होठ खोल लिए जिससे उसकी चूत पूरी खुल जाए ओर
जय को चूत मे लॅंड पेलने मे कोई दिक्कत ना आए. वैसे टाँगें चौड़ी करने का
ओर चूत को पूरा खोलने का एक कारण ओर भी था
उसकी एक सहेली थी जो अभी नई नई शादी के बाद वापस अपने पिहर आई हुई थी वो
रोज ही उसे अपनी चुदाई के किससे सुनती रहती थी ओर राशि उसे उकसा उकसा कर
चुदाई की बातें पूछती रहती थी. इस कारण उसे इस बात का अच्छी तरह ज्ञान था
की जब लॅंड चूत मे जाता है तो बहुत दर्द होता है छूट फट जाती है ओर छूट
मे से खून भी निकालने लगता है.
इन सब डर के बावजूद भी राशि अपनी छूट मे लॅंड डलवाना चाहती थी क्यूंकी
उसने चूत मे जीभ कई बार डलवाई हुई थी ओर वो जानती थी की अगर जीभ इतना
मज़ा दे सकता है तो लॅंड कितना मज़ा दे सकता है. ओर आज लॅंड उसकी छूट पर
आख़िरकार दस्तक दे ही रहा है. ओर उसकी छूट भी आंशु बहा कर लॅंड का स्वागत
कर रही है. जय ने उसकी गुलाबी छूट को देखा ओर राशि के छूट की फांकों को
खोलने के कारण जो छूट खुल कर उसके सामने आई थी तो उसे सॉफ नज़र आ रहा था
की राशि पूरी तरह से कुँवारी है. जे उसे बेदर्दी से चोद्ने का मूड बना
रहा था पर ये सब देख कर वो समझ गया की अगर आज बेदर्दी से चोडा तो राशि
फिर कभी भी चुदाई के पूरे मज़े नही ले पाएगी ओर हमेशा सेक्स से घबराती
रहेगी. इस कारण उसे आराम से ही चोडेना होगा.
ये सोच कर जे ने अपने लॅंड को एक बार फिर से वहाँ से हटा लिया राशि ये
अपेक्षा नही कर रही थी. वो घबरा कर पीछे मूडी तब तक जे बाथरूम से बाहर
निकल गया था. राशि ने सोचा की जे गया क्यू क्या उसे मेरी चूत पसंद नही आई
मैने तो आज तक इसी से चुडवाया भी नही है ओर इसे फिर भी मेरी चूत पसंद नही
आई तो इसे कैसी चूत पसंद है. अब मैं किसे पटौँगी चूत का उद्घाटन करने के
लिए. राशि इस उधेड़बुन मे मशगूल थी की इतने मे जय फिर से बाथरूम मे घुसा.
राशि उसी पोज़िशन मे खड़ी सोच रही थी जय ने उसकी चूत को अपने दोनो हाथों
से चौड़ा किया तब कही जा कर राशि को होश आया ओर उसने चैन की साँस लिकी
चलो जय गया नही है वो वापस आगेया हैउसने उसी समय भगवान का लाख लाख
शुक्रिया अदा किया की उसने जय को फिर से वापस भेज दिया. उसे क्या पता था
की जय तो उसकी चूत पर ओर लॅंड पर लगाने के लिए क्रीम लेने गया था कमरे
मे.
जय ने अब उससे कहा की तुम प्लीज़ अपने दोनो चुतताड थोड़े चौड़े कर लो
जिससे मैं तुम्हारी चूत मे क्रीम लगा सकूँ. राशि अब अपनी बेवकूफी पर
मुश्कुरा दी. अरे ये तो क्रीम लाने गया था ओर मैं पता नही क्या क्या
सोचने लगी. ओर उसने झट से अपने दोनो हाथों से अपनी चूत के दोनो फाड़
चौड़ी कर दी ओर जय ने झट से अपने हाथ मे ले रखी खूब सारी क्रीम राशि की
चूत मे घुसेड दी. ओर उंगली से उसे अंदर करने लगा जब भी वो उंगली राशि की
चूत मे डालता क्रीम को अंदर करने के लिए तब तक राशि के मूह से शीष्कारी
निकल जाती. कुच्छ देर ऐसे ही करते रहने के बाद जाए ने उसकी चूत को छ्चोड़
दिया ओर अब वो अपने लॅंड पर क्रीम लगा रहा था. राशि को ये सब समझ नही
आरहा था तो उसने पूच्छ ही लिया की तुम ये क्रीम क्यू लगा रहे हो पहले तो
चूत पर क्रीम लगाई ओर अब लॅंड पर भी लगा रहे हो. इनको गोरा बनाना है
क्या. राशि तो क्रीम का एक ही मतलब जानती थी. गोरा करना.
जय केवल मुश्कुरा दिया ओर बोला समझ जाएगी तू ओर अपने तननाए हुए लॅंड को
राशि की चूत पर लगा दिया. चूत पर लॅंड का एहसास होते ही राशि एकदम सिंहार
गई ओर बेसब्री से लॅंड के चूत मे घुसने का इंतजार करने लगी. जय ने बड़े
ही प्यार से अपने लॅंड को छूत्त के मुहाने पर रखा ओर उसे चूत पर दबाने
लगा. इतने प्यार से लॅंड घुसने के बावजूद राशि के मूह से
आआआआआआआआआआआआआअहह की आवाह निकल गई जे ने आहा क्या हुआ राशि दर्द हो रहा
है क्या. राशि तब तक अपने दर्द को दबा चुकी थी उसने कहाँ नही जे तुम करो
दर्द नही हो रहा है ओर अगर मैं दर्द से चीखून भी तो तुम मत रुकना वरना हम
कभी भी मज़ा नही ले पाएँगे. जे उसकी जिंदादिली को देख कर हैरान था. उसने
एक बार फिर से चूत के मूह पर लॅंड कगाया ओर इस बार कुच्छ ज़्यादा ज़ोर
देते हुए लॅंड को चूत पर धकेलने लगा. लॅंड की टोपी चूत के अंदर घुस गई थी
राशि चिल्लई आआआआआआआआहह. मर् गई रे. मेरी चूत फट गई रे. पर इस बार जे
रुका नही ओर उसने राशि की चूत मे फँसे लॅंड को थोड़ा सा पीछे किहिंचा ओर
फिर एक जोरदार झटका मारा ओर लॅंड क्रीम की चिकनाई होने की वजह से पूरा का
पूरा उसकी चूत के अंदर समा गया. चूत इस अप्रत्याशित हमले के लिए तय्यार
नही थी लॅंड के पहले ही झटके मे चूत की झिल्ली एकदम खींच गई ओर जब जे ने
दुबारा से झटका मारा तो लॅंड राशि की चूत की कोमार्य झिल्ली को तार तार
करते हुए जड़ तक उतार गया. राशि का तो दर्द के मारे बुरा हाल था वो ये
नही जानती थी की चूत मे लॅंड लेना इतना मुश्किल होता है वो तो सोच रही थी
की बस चूत पर लॅंड लगाया ओर अंदर बाहर कर लेते होंगे पर आज जब वो खुद चुड
रही है तो लग रहा है जैसे उसकी चूत की तो माँ चुद गई है. एक दम बुरा हाल
हो गया था उसका चूत तो जैसे फट कर दो टुकड़े हो गई थी. उसने जय को अपने
हाथ से रुकने का इशारा किया तो जे रुक गया क्यूंकी उसे भी राशि की तकलीफ़
सॉफ नज़र आ रही थी. राशि काफ़ी मुश्किल से सांश ले रही थी. कुछ देर तक वो
दोनो ऐसे ही खड़े रहे राशि वैसे ही झुकी हुई लॅंड चूत मे लिए हुए ओर जे
उसके पीछे अगले हुक़म के इंतजार मे कुच्छ देर बाद जब राशि की चूत मे दर्द
कम हो गया तो उसने अपने चुतताड पीछे की तरफ ढकेले. जिससे लॅंड कुच्छ राशि
की चूत मे ओर अंदर चला गया ये इस बात का इशारा था की अब तुम चोद सकते हो.
जय ने झट से फिर झटके मरने शुरू कर दिए. ओर अब तो राशि भी चुदाई का पूरा
अनानद ले रही थी. ओर अपनी गांद को जय की तरफ बार बार उछाल रही थी कह रही
थी हाआँ जय ओर ज़ोर से छोड़ो मुझे बहुत दिन हो गये है इस चूत को पानी
फेंकते हुए आज इसकी कस कर मार ले फिर ये लॅंड लॅंड ना चिल्लाए. हाए मैं
कब से तुमसे चूड़ना चाह रही थी मेरे राजा चोद डाल मुझे मस्त कर दे मेरे
राजा. अया ओर ज़ोर से आआहह मार डाला ले हरामी मेरी चूत फाड़ डाली रे तूने
रे मज़ा आ गया रे ओर मार मेरी चूत को ऐसे कहते कहते राशि की चूत मे
संकुचन होने लगा ओर उसने जय के लॅंड को अपनी गिरफ़्त मे ले लिया ओर जे को
ऐसा महसोस होने लगा जैसे उसका लॅंड कही फँस गया हो पर फिर भी वो झटके
मारे जा रहा था. थोड़ी ही देर मे राशि की चूत पानी छ्चोड़ देती है ओर चूत
की कसावट की ताब ना लाते हुए जय का लॅंड भी देर सारा विर्य उसकी चूत मे
डाल देता है विर्य की गर्मी का एहसास होते ही राशि को एक तरह की
संत्ुस्ती मिलती है. की आख़िरकार वो आज चुद गई थी उसकी दिली तमन्ना पूरी
हो गई थी.

अब चुदाई के बाद दोनो ने साथ मे स्नान किया ओर एक दूसरे को खूब मल मल कर
नहलाया जय राशि के साबुन लगा रहा था ओर राशि जय के साबुन लगा रहे थे.
दोनो जब नहा चुके तो बाहर आ गये ओर बाहर आ कर कपड़े पहनने लगे. राशि
कपड़े पहन रही थी ओर जय उसे देखे जा रहा था. उसे राशि बहुत पसंद आ रही
थी. पहले तो वो सोच रहा था की राशि उसे चोदने को मिल जाए तो अच्छा है ओर
अब जब वो उसे भोग चुका था तो उसे इस बात का एहसास हो रहा था की राशि तो
एक आन छुइ काली थी जिसे उसने भोगने के चक्कर मे खराब कर दिया है ओर वो इस
बात पर बहुत पश्चाताप कर रहा था. क्यूंकी जब वो राशि को छोड़ने के लिए
उसकी चूत पर अपना लंड लगा रहा था तब उसने उसकी चूत का मुहाना सॉफ तौर पर
देखा था वो एकदम कुँवारी थी वो केवल उससे चुडाने के लिए ही यहाँ पर आई थी
पर ये भी तो था की वो किसी ओर से भी तो चुद सकती थी उसे कोई लड़कों की
कमी तो थी नही. जिस भी लड़के को वो इशारा करती वो ही उसे चोदने को दौड़
पड़ता. पर उसने मुझे चुना ज़रूर कोई कारण है.
उसने राशि को पुछा राशि एक बात बताओ.
बोलो
तुम यहाँ पर मुझसे चूड़ने आई थी ना. सॉफ सॉफ बताना.
मुझसे ऐसी बातें मत करो तुम मुझे शर्म आती है.
अरे बताओ ना चूड़ने के टाइम तो शर्म नही आई.
वो वक़्त ओर होता है उस टाइम शर्म नही आती है पर अब तो आ रही है.
नही तुमको बताना पड़ेगा.
हाँ
अगर आज मैं तुम्हे नही मिलता तो क्या तुम किसी ओर से चुद लेती.
चुप करो तुम हर कुछ बकते रहते हो. तुममे ओर ओरों मे फ़र्क नही है क्या.
"वही फ़र्क तो जाना चाहता हू" जय जैसे कोई फ़ैसला करना चाहता हो
मैं तुमसे प्यार करती हू, यार ओरों से नही करती, अगर मुझे हर किसी से
चूड़ना होता तो बस मे मुझे लड़का छेद ही रहा था उसी से करवा लेती पर मुझे
तो सिर्फ़ तुमसे प्यार है. बस वाले लड़के की तो मैने पिटाई भी करवा दी
थी.. क्या तुम्हे इतनी सी बात समझ नही आती क्या.
तुम मुझसे प्यार करती हो तो क्या तुम मुझसे शादी करोगी.
राशि ने उसे आश्चर्या से देखा जैसे उसने राशि के मान की बात पकड़ ली हो.
"क्यू नही करूँगी मेरे लिए इससे अच्छी बात क्या हो सकती है"
पर तुम्हारे मान बाप क्या कहेंगे. क्या वो मानेंगे
मेरे मान बाप को तो मैं माना लूँगी पर तुम्हारे मान बाप का क्या होगा.
मेरे मान बाप तो मुझे बहुत पहले कह चुके की बेटा हम तो तेरी शादी तेरी ही
पसनद की लड़की से करेंगे., मैने लड़कियाँ चोदि तो बहुत है ओर जिस लड़की
के कमरे मे आज हम चुदाई कर रहे है उसे तो वो रोज चोद्ता है पर प्यार पहली
बार हुआ है.
मैं तुमसे प्यार करता हू ओर तुमसे शादी कना चाहता हू. अगर तुम मानो.
मेरा तो तन मन धन सब तुम्हारा है
मुझे तो तेरा तन ओर मन ही चाहिए धन नही चाहिए. मैं अपने पापा से बात
करूँगा. तुम भी अपने पापा से बात करके देख लो
मेरे मान बाप मुझसे बहुत प्यार करते है वो शादी के लिए मना नही करेंगे.
जे ने राशि की तरफ अपनी बाहें फैला दी ओर राशि उसके आगोश मैं आ कर उसके
प्यार के संसार मे खो गई.

the end



























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raj sharma

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