FUN-MAZA-MASTI
कल फिर मिलेंगे
आज जब मैं अपने उन दिनो की याद करता हूं तो मुझे लगता है कि बचपन लौट आया लेकिन मैं यह जानता हूं कि यह हो नहीं सकता।बात उन दिनो की है जब मैं ११ वीं में पढ़ता था। मेरे ठीक बगल वाले घर में अक भाभी रहती थी। उनकी फ़ीगर बहुत अच्छी थी वैसे यह अब मुझे लगता है, उस समय तो केवल उन्हें देखने का मन करता था और मैं उनके घर चला जाता था।
भाभी मुझे खूब प्यार करती थी।उनका एक छोटा बेबी था जो उनका दूध पीता था जब वो एक दिन दूध पी ही रहा था तो मैने भाभी से पूछा कि बेबी को दूध मीठा लगता है या फ़ीका? इस बात पर भाभी मुसकराते हुए बोली तुम थोड़ा पी कर देखो भाभी ने अपने हाथ पर थोड़ा सा दूध निकाला और मुझे पीने के लिए दिया मैने दूध पी कर कहा ये तो बहुत अच्छा लगता है। भाभी हंसने लगी उस दिन से मैं भाभी को और प्यार करने लगा।
एक दिन जब मैं भाभी के घर गया तो भाभी कोई दवा की बोतल देख रही थी मैने भाभी से पूछा तो वह बोली तेरे भैया लाये है और यह तेरे काम की चीज नहीं है, मैं बोला देखूं तो, जब मैने बोतल देखी तो उस पर बूब्स बने हुए थे मैने भाभी से पूछा की यह क्या है तो भाभी उदास हो गई और कहा कि मेरे बूब्स बहुत छोटे हैं इसलिए तेरे भैया यह दवा लाये हैं जिससे यह बड़े हो जाएंगे। मैने कहा क्या इसे पीना पड़ेगा तो वह बोली नहीं इसे तो वहां लगाना पड़ता है, मैने भाभी से कहा चलो मैं लगा दूंगा तो वह कुछ नहीं बोली। दूसरे दिन मैं दोपहर में गया तो देखा भाभी दवा लगा रही थी मैने भाभी से कहा कि लाओ मैं लगा देता हूं कुछ सोचने के बाद भाभी ने कहा दरवाजा तो बंद कर आओ। डियर
जब मैं दरवाजा बंद कर भाभी के पास गया तो भाभी ने मुझे अपने पास बुला लिया मैने देखा भाभी ने अपना ब्लाउज़ और ब्रा नहीं पहने हुए हैं, उनके गोरे-गोरे मम्मे ठीक निम्बु के आकार के हैं मैने भाभी से कहा इतने छोटे मम्मे में तो दूध ज्यादा नहीं होता होगा और छोटू का पेट भी नहीं भरता होगा? तो उन्होनें कहा नहीं ऐसी बात नहीं है मुझे यकीन ही नहीं आ रहा था तो उन्होनें कहा लो चेक कर लो, वो वहीं बेड पर लेट गई मैं उनके पास बेड पर झुक कर उनका दूध पीने लगा। ओह! उनका दूध तो वाकई मीठा था और दूध भी तेजी से निकल रहा था। भाभी के निप्पले भी तन गये थे अब मुझे अच्छा लग रहा था मैं भाभी के मम्मे तेजी से दबाने लगा भाभी भी आंख बंद कर न जाने क्या सोच रही थी, अब मैं भाभी से पूरी तरह सट गया और मेरे होंठ भाभी के होंठों से जुड़ गये, ये मुझे तब पता चला जब भाभी मुझे हटाते हुए अपने कपड़े ठीक करने लगी तभी मुझे छोटू के रोने की आवाज सुनाई दी। भाभी ने छोटू को उठा कर अपनी गोदी में ले लिया, हम वहीं बिस्तर पे बैठ कर बातें करने लगे, पता नहीं क्यों आज मुझे घर जाने का मन नहीं कर रहा था, तब भाभी ने कहा अब तुम जाओ अभी भैया आ जायेंगे, तुम कल जल्दी आना और ये सब तुम किसी से नहीं बताना।
दूसरे दिन मैं भाभी के घर गया तो भाभी ने मुस्करा कर कहा आज तो बहुत जल्दी आ गये अभी तो मैं नहाई ही नहीं हूं तो मैने कहा कोई बात नहीं मैं यहीं बैठ जाता हूं आप नहा लो। भाभी बेडरूम जा कर अपने बाथ रूम में नहाने लगी तभी छोटू के रोने की आवाज आई मैं भी बेडरूम में जा कर छोटू को थपकी देने लगा तभी भाभी नहा कर केवल टोवल लपेट कर बाहर आई और मुझे देख कर बोली मैने तो तुम्हे बाहर बैठने के लिये कहा था तो मैने कहा छोटू रो रहा था। भाभी ने मेरे सामने ही अपना गाउन पहन लिया अब हम दोनो बेड पर बैठ कर बातें करने लगे, क्योंकि हल्की ठंड लग रही थी इसलिये हम लोगो ने कम्बल ओढ रखा था सामने टीवी चल रहा था
बात करते करते हम दोनो एक दूसरे से सट गये थे और अचानक भाभी ने कहा तुमने कभी किसी को नंगी देखा है तो मैने कहा कि आप नाराज तो नहीं होगी तो उन्होनें कहा नहीं, तो मैने कहा रात में जब आप और भैया नंगे सोते हो तो मैने आप दोनो को देखा है तब भाभी ने कहा कि तुम तो अपने घर रहते हो तब कैसे देखते हो तो मैने कहा कि जब मैं छत पर जाता हूं तो अपके बेडरूम की खिड़की से सब कुछ दिखता है भाभी ने कहा तुम बहुत बदमाश हो, अब से हम अपनी खिड़की बंद रखेंगे भाभी से मैने कहा कि ऐसा मत करना।
टीवी पर कोई रोमांस सीन चल रहा था मैं भाभी से और सट गया और भाभी से बोला मुझे आपका दूध पीना है भाभी की सांसे गरम हो गई थी भाभी ने अपना गाउन के बटन खोल दिये और कम्बल के अन्दर मेरे पैंट को खोलने लगी, उनकी चूंचियां अब तन गई थी मेरे हाथ उनके गाउन के नीचे कुछ छूने का प्रयास करने लगे अब हम पूरी तरह से खुल चुके थे।
भाभी ने मेरे पैंट के अन्दर हाथ डाल दिया था मेरा औजार बुरी तरह तन गया था, जब मैने भाभी की चूत पर हाथ रखा तो मेरे बदन में बिजली सी दौड़ गयी अब हम एक दूसरे को पूरी तरह महसूस कर रहे थे। तभी भाभी ने कहा चलो अब मैं तुम्हे बताती हूं कि मजा कैसे लिया जाता है। हम दोनो ने अक दूसरे के कपड़े उतार दिए, मैं तो एक टक भाभी को देखने लगा भाभी ने कहा ऐसे मत देखो मुझे शरम आ रही है।
भाभी की चूत पर एक भी बाल नहीं था भाभी ने मुझे लिटा कर मेरे औजार को धीरे धीरे सहलाना शुरु किया, मैं भाभी की छोटी चूंचियों को मसल रहा था भाभी का बदन ऐंठता जा रहा था काफ़ी देर तक ये सब करने के बाद भाभी ने मेरे औजार को चूमते हुए कहा ये तो बहुत ही प्यारा सा है मैं इसे अब वो सारी तरकीबें सिखाउंगी जिससे तुम जिंदगी को जीना सीख जाओगे। मैने भाभी से कहा भाभी मैं भी आपकी चूत की चुम्मी लूंगा भाभी ने कहा ठीक है मैं लेट जाती हूं मैने भाभी की चूत की चुम्मी ली और अपने जीभ के आगे की नोक से अन्दर जाने की कोशिश करने लगा लेकिन शायद भाभी को बहुत एक्साइटमेंट लग रहा था इस लिए उसने मेरे सिर को हटा दिया। अब हम दोनो बैठ गये मैं उनके गोद में लेट गया भाभी मेरे होंठों पर अपनी उंगलियां फ़िरा रही थी मैने उसकी एक उंगली अपने मुंह में डाल कर चूसने लगा भाभी अपनी आंखों को बंद रखे हुए थी अचानक फोन की घंटी बजी मेरे घर से फोन था मुझे तुरन्त ही जाना पड़ा मैने भाभी की एक चुम्मी ले कर जाने लगा तो भाभी ने कहा कल फिर मिलेंगे।
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कल फिर मिलेंगे
आज जब मैं अपने उन दिनो की याद करता हूं तो मुझे लगता है कि बचपन लौट आया लेकिन मैं यह जानता हूं कि यह हो नहीं सकता।बात उन दिनो की है जब मैं ११ वीं में पढ़ता था। मेरे ठीक बगल वाले घर में अक भाभी रहती थी। उनकी फ़ीगर बहुत अच्छी थी वैसे यह अब मुझे लगता है, उस समय तो केवल उन्हें देखने का मन करता था और मैं उनके घर चला जाता था।
भाभी मुझे खूब प्यार करती थी।उनका एक छोटा बेबी था जो उनका दूध पीता था जब वो एक दिन दूध पी ही रहा था तो मैने भाभी से पूछा कि बेबी को दूध मीठा लगता है या फ़ीका? इस बात पर भाभी मुसकराते हुए बोली तुम थोड़ा पी कर देखो भाभी ने अपने हाथ पर थोड़ा सा दूध निकाला और मुझे पीने के लिए दिया मैने दूध पी कर कहा ये तो बहुत अच्छा लगता है। भाभी हंसने लगी उस दिन से मैं भाभी को और प्यार करने लगा।
एक दिन जब मैं भाभी के घर गया तो भाभी कोई दवा की बोतल देख रही थी मैने भाभी से पूछा तो वह बोली तेरे भैया लाये है और यह तेरे काम की चीज नहीं है, मैं बोला देखूं तो, जब मैने बोतल देखी तो उस पर बूब्स बने हुए थे मैने भाभी से पूछा की यह क्या है तो भाभी उदास हो गई और कहा कि मेरे बूब्स बहुत छोटे हैं इसलिए तेरे भैया यह दवा लाये हैं जिससे यह बड़े हो जाएंगे। मैने कहा क्या इसे पीना पड़ेगा तो वह बोली नहीं इसे तो वहां लगाना पड़ता है, मैने भाभी से कहा चलो मैं लगा दूंगा तो वह कुछ नहीं बोली। दूसरे दिन मैं दोपहर में गया तो देखा भाभी दवा लगा रही थी मैने भाभी से कहा कि लाओ मैं लगा देता हूं कुछ सोचने के बाद भाभी ने कहा दरवाजा तो बंद कर आओ। डियर
जब मैं दरवाजा बंद कर भाभी के पास गया तो भाभी ने मुझे अपने पास बुला लिया मैने देखा भाभी ने अपना ब्लाउज़ और ब्रा नहीं पहने हुए हैं, उनके गोरे-गोरे मम्मे ठीक निम्बु के आकार के हैं मैने भाभी से कहा इतने छोटे मम्मे में तो दूध ज्यादा नहीं होता होगा और छोटू का पेट भी नहीं भरता होगा? तो उन्होनें कहा नहीं ऐसी बात नहीं है मुझे यकीन ही नहीं आ रहा था तो उन्होनें कहा लो चेक कर लो, वो वहीं बेड पर लेट गई मैं उनके पास बेड पर झुक कर उनका दूध पीने लगा। ओह! उनका दूध तो वाकई मीठा था और दूध भी तेजी से निकल रहा था। भाभी के निप्पले भी तन गये थे अब मुझे अच्छा लग रहा था मैं भाभी के मम्मे तेजी से दबाने लगा भाभी भी आंख बंद कर न जाने क्या सोच रही थी, अब मैं भाभी से पूरी तरह सट गया और मेरे होंठ भाभी के होंठों से जुड़ गये, ये मुझे तब पता चला जब भाभी मुझे हटाते हुए अपने कपड़े ठीक करने लगी तभी मुझे छोटू के रोने की आवाज सुनाई दी। भाभी ने छोटू को उठा कर अपनी गोदी में ले लिया, हम वहीं बिस्तर पे बैठ कर बातें करने लगे, पता नहीं क्यों आज मुझे घर जाने का मन नहीं कर रहा था, तब भाभी ने कहा अब तुम जाओ अभी भैया आ जायेंगे, तुम कल जल्दी आना और ये सब तुम किसी से नहीं बताना।
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टीवी पर कोई रोमांस सीन चल रहा था मैं भाभी से और सट गया और भाभी से बोला मुझे आपका दूध पीना है भाभी की सांसे गरम हो गई थी भाभी ने अपना गाउन के बटन खोल दिये और कम्बल के अन्दर मेरे पैंट को खोलने लगी, उनकी चूंचियां अब तन गई थी मेरे हाथ उनके गाउन के नीचे कुछ छूने का प्रयास करने लगे अब हम पूरी तरह से खुल चुके थे।
भाभी ने मेरे पैंट के अन्दर हाथ डाल दिया था मेरा औजार बुरी तरह तन गया था, जब मैने भाभी की चूत पर हाथ रखा तो मेरे बदन में बिजली सी दौड़ गयी अब हम एक दूसरे को पूरी तरह महसूस कर रहे थे। तभी भाभी ने कहा चलो अब मैं तुम्हे बताती हूं कि मजा कैसे लिया जाता है। हम दोनो ने अक दूसरे के कपड़े उतार दिए, मैं तो एक टक भाभी को देखने लगा भाभी ने कहा ऐसे मत देखो मुझे शरम आ रही है।
भाभी की चूत पर एक भी बाल नहीं था भाभी ने मुझे लिटा कर मेरे औजार को धीरे धीरे सहलाना शुरु किया, मैं भाभी की छोटी चूंचियों को मसल रहा था भाभी का बदन ऐंठता जा रहा था काफ़ी देर तक ये सब करने के बाद भाभी ने मेरे औजार को चूमते हुए कहा ये तो बहुत ही प्यारा सा है मैं इसे अब वो सारी तरकीबें सिखाउंगी जिससे तुम जिंदगी को जीना सीख जाओगे। मैने भाभी से कहा भाभी मैं भी आपकी चूत की चुम्मी लूंगा भाभी ने कहा ठीक है मैं लेट जाती हूं मैने भाभी की चूत की चुम्मी ली और अपने जीभ के आगे की नोक से अन्दर जाने की कोशिश करने लगा लेकिन शायद भाभी को बहुत एक्साइटमेंट लग रहा था इस लिए उसने मेरे सिर को हटा दिया। अब हम दोनो बैठ गये मैं उनके गोद में लेट गया भाभी मेरे होंठों पर अपनी उंगलियां फ़िरा रही थी मैने उसकी एक उंगली अपने मुंह में डाल कर चूसने लगा भाभी अपनी आंखों को बंद रखे हुए थी अचानक फोन की घंटी बजी मेरे घर से फोन था मुझे तुरन्त ही जाना पड़ा मैने भाभी की एक चुम्मी ले कर जाने लगा तो भाभी ने कहा कल फिर मिलेंगे।
हजारों कहानियाँ हैं फन मज़ा मस्ती पर !
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