FUN-MAZA-MASTI
कभी चूत कभी सूखा--1
पति का स्वर्गवास होने के बाद अनिता काफी अकेली पड गई थी उसका बेटा राजु अभी सिर्फ १५ साल का था पति जिंदा था तब वो मजदूरी करके परिवार का गुजारा करता था. शहर मे उनका कोई रिश्तेदार भी नही था. इसलिए अब खुद का और अपने बेटे का गुजारा करने के लिए अनिता खुद ही काम करने लगी. लोगों के घर में बर्तन और कपड़े धोने का काम करके वो खुद का और उसके बेटे का गुजारा कर रही थी अनिता कि उम्र कुछ ३६-३७ के आसपास थी इसलिए उसे ये काम करना कोई मुश्किल बात नहीं थी भरी जवानी में बिचारी का पती मर गया था. अनिता दिखने में खूबसूरत थी ५.५ कि कद गोरा रंग लंबे बाल कजरारी आँखें चेहरे पर कोई डाग नही शरीर पर भी कहीं मोटापा नही था उसके के मम्मे और गांड लोगों को बहुत आकर्षित करती थी दिखने में वो कुछ कुछ श्रीदेवी कि तरह दिखती थी उसे देखकर कोई भी उसके उम्र का सही अंदाजा नहीं लगा सकता था. उसका बेटा राजु पढ़ाई में बहुत तेज था इसी साल वो दसवीं कक्षा में ७२% से उत्तीर्ण हुआ था आगे की पढ़ाई करने के लिए माँ के पास पैसे नही है ये बात राजु अच्छी तरह से जानता था इसलिए आगे पढ़ने की जगह उसने काम करके माँ को मदद करने का फैसला किया वैसे राजु बहुत समझदार लडका था. वो बिलकुल अपनी माँ पर गया था राजु काफी कसरती शरीर का मालिक था. ५.८ कि कद गोरा रंग चेहरे पर कहीं कोई डाग नही सिर्फ हलकी मूँछें थी राजु एक गबरू जवान लडका था. राजु एक मारवाड़ी के दुकान में हेल्पर का काम करता था पढ़ा लिखा होने के कारण राजु हिसाब भी अच्छा कर लेता था उसके काम से दुकान का मालिक उसपर बहुत खुश था.
अनिता और राजु दोनों किराये के सिंगल रुम मे रहते थे रुम में नहाने के लिए बाथरुम भी ढंग का नही था अनिता रोज सुबह जल्दी उठकर नहाती थी कभी कभी राजु भी नहाते वक्त उसकी माँ को आधी नंगी देख लेता था पर राजु को इसकी आदत थी. गरमी के दिनों में तो अनिता रात को ब्लाउज निकालकर आधी नंगी ही सोती थी गरिबी कि वजह से वो ब्रा नही पहनती थी.
अब राजु बडा हो गया था उसने अब तक कभी मुठ नही मारी थी उसे सेक्स के बारे मे कुछ जादा मालुम नही था. राजु जब उसकी आधी नंगी माँ को देखता तो उसका लंड अपने आप खडा हो जाता था उसका खडा लंड उसकी माँ के नजरों से बचता नहीं था वो उसके खडे लंड को घुरती और अनदेखा कर देती. अनिता को कभी कभी पति के साथ कि चुदाई याद आती तो वो रात को राजु सोने के बाद चुत की आग को उंगलियों से शांत करती थी. अनिता को राजु को उसकी चूचियां दिखाना अच्छा लगने लगा था वो उसके सामने ही नहाती कपड़े बदलती. राजु भी अपनी माँ की चूचियां घुर घुर के देखता था.
एक दिन कि बात है उस वक्त बारिश के दिन चल रहे थे बारिश रुकने का नाम नहीं ले रही थी अनिता के पास छत्री नहीं थी इसलिए वो भीगते भीगते घर पर चली गई घर जाने के बाद उसने साड़ी उतार दी. घर कि छत से पानी अंदर घुसने कि वजह से अनिता और उसके बेटे के सारे कपडे गीले हो गये थे अब उसके पास पहनने के लिए दुसरी साड़ी भी नहीं थी अनिता ने टाँवेल लिया और उसे लूंगी कि तरह कमर पर लपेट दिया उसकी चूचियां नंगी थी अनिता ने वैसे ही आधी नंगी अवस्था में रात का खाना बनाया और राजु का इंतजार करने लगी. बारिश अबतक नहीं रुकी थी करीब रात के १० बजे राजु घर आ गया राजु भी पुरी तरह भीग चुका था राजु के सामने उसकी माँ आधी नंगी खड़ी थी पर उसके लिए ये नया नहीं था. राजु को देखकर अनिता बोली "अरे तु तो पुरा भीग गया है जल्दी से कपड़े उतार नही तो सर्दी लग जाएगी"
राजु: ठीक हैं माँ पर तुने साड़ी क्यों नहीं पहनी
अनिता: छत से पानी अंदर घुस गया और सारे कपडे गीले हो गये हैं तु भी टाँवेल लपेट ले
राजु ने अपने कपड़े उतार दिए पर उसने अंडरवेअर अभी तक नहीं उतारा था
अनिता: राजु अंडरवेअर भी उतार दे नही तो वहां अलरजी हो जाएगी
राजु: माँ अलरजी नहीं अॅलर्जी
अनिता: हा वही होगा चल अब उतार इसे भी
राजु ने अंडरवेअर उतार दी अब वो उसकी माँ के सामने पुरा नंगा खड़ा था उसकी माँ बार बार उसके लंड को घुर रही थी उसका लंड सोया हुआ था फिर भी काफ़ी बडा लग रहा था
राजु: माँ ऐसे क्या देख रही हो मुझे थंड लग रही हैं टाँवेल दो ना जल्दी
अनिता: ये ले तेरा टाँवेल
राजु ने कमर पर टाँवेल लपेट लिया और उसका लंड टाँवेल में छुप गया फिर अनिता और राजु ने खाना खाया राजु बार बार अनिता की चूचियों को घुर रहा था अनिता भी तिरछी नजरों से उसके लंड को घुर रही थी.
राजु: माँ यहा पर पानी टपक रहा है मैं कहाँ पर सोउ
अनिता: मेरे साथ सो जा इस तरफ पानी नहीं टपक रहा और तेरी चद्दर भी गीली हो गई है हम दोनों एक ही चद्दर मे सोते है
राजु: ठीक है माँ
अनिता ने बिस्तर लगाया और दोनों बिस्तर पर लेट गए कम जगह की वजह से दोनों माँ बेटे एक दूसरे से चिपक के लेटे थे राजु बार बार उसकी माँ की चूचियां देख रहा था उसे इस तरह देखकर अनिता बोली "ऐसे क्या देख रहा है बेटा"
राजु अनिता के चूचियो की तरफ इशारा करके बोला "माँ बचपन में इधर से दूध पीता था ना"
अनिता: हा बेटा
राजु: माँ क्या अब भी यहां से दूध आता हैं
अनिता: नही बेटा जब बच्चा पैदा होता है तभी यहां से दूध आता हैं पता है तु ७ साल का होने तक मेरा दूध पीता था
राजु: तब तक आपके मम्मो से दूध आता था
अनिता: नही आता था पर तु बहुत जिद्द करता था तेरे पिताजी भी कहते थे पीता है तो पीने दे
राजु: माँ पिताजी हमसे बहुत प्यार करते थे ना
अनिता: हा अगर वो जिंदा होते तो तुझे कभी काम नही करने देते
राजु: माँ मैं जब आपके मम्मे देखता हूँ तो मुझे कुछ कुछ होने लगता है
अनिता: क्या होता है बेटा
राजु: माँ मेरी नुन्नी का आकार बडा होता है
अनिता: मुझे दिखा कैसा होता है
राजु अपना टाँवेल हटाता है और उसका ७ इंच लंबा लंड उसकी माँ को सलामी देता है अनिता ने अपने पति के बाद अपने बेटे का लंड देख रही थी. अनिता लंड देख के बोली "राजु तु तो बडा हो गया है तेरा तेरे पिताजी के इतना बड़ा हो गया है" अनिता ने धीरे से उसका लंड अपने मुठ्ठी में पकड़ लिया उसकी इस हरकत से राजु के मुँह से सिसकारी निकल गई.अनिता ने झटसे उसका लंड छोड़ दिया और बोली "क्या हुआ बेटा"
राजु: माँ फिरसे पकड़ो ना मजा आ रहा है
अनिता: बेटा ये गलत बात है रे काम अपने पत्नी के साथ करते हैं
राजु: माँ सिर्फ एक बार पकड़ो ना प्लीज
अनिता ने फिर से उसका लंड मुठ्ठी में पकड़ा एक दो बार मुठ्ठी आगे पीछे की और रुक गई पर इसबार उसने लंड छोड़ा नही मुठ्ठी में पकड़ रखा था.
राजु: माँ रुको मत फिर से करो ना प्लीज
अनिता ने फिर से लंड हिलाने को सुरुवात कि राजु का मुठ मारने का ये पहला अनुभव था और उसकी माँ उस की मुठ मार रही थी इसलिए उसका मजा दोगुना बढ़ गया था राजु लगादार सिसकियाँ ले रहा था अनिता एक हाथ से लंड हिला रही थी और एक हाथ टाँवेल के अंदर डालकर चुत को सहला रही थी अनिता भी सिसकियाँ ले रही थी. अब लंड हिलाने की स्पीड अनिता ने बढ़ा दी थी और चुत मे दो उंगलियां डालकर अंदर बाहर कर रही थी दोनों की सिसकियो से पुरा रूम गुंज रहा था. राजु का ये पहली बार था इसलिए वो जादा देर तक संभाल नहीं पाया उसके लंड से वीर्य की ५-६ पिचकारी छूटी कुछ वीर्य उसके चूचियों पर जाके गिरा और बचा हुआ अनिता के हाथ में लगा था. राजु बुरी तरह से हांफ रहा था उसकी साँसें तेज चल रही थी. अनिता का पानी अबतक गिरा नहीं था इसलिए वो चुत मे उंगली अंदर बाहर करने लगी. राजु के वीर्य से भरा भरा हाथ वो चाटने लगी और फुल स्पीड मे चुत मे उंगलियां डालने लगी अगले २ मिनट में ही उसका भी पानी गिर गया उसके पानी से पुरा टाँवेल गीला हो चुका था. दोनों शांति से बिस्तर पर पडे थे. अनिता के एक हाथ राजु के वीर्य से भर चुका था और एक हाथ पे उसकी चुत की पानी से. राजु आँखें फाड कर अनिता की तरफ देख रहा था. दोनों इस खेल से बहुत थक चुके थे इसलिए एक दूसरे से कुछ कहे बिना ही सो गए.
दूसरे दिन सुबह ७ बजे जब अनिता की निंद खुली तो उसे बाजु सोया हुआ राजु दिखाई दिया. उसकी नजर राजु के लंड पर पड़ी तो उसे रात की बाद याद आ गई अनिता ने उसके लंड पे टाँवेल डाला और जल्दी से नहाकर तैयार होकर काम के लिए चली गयी. ८ बजे राजु उठा वो भी नहा के काम पर चला गया. अनिता दिन भर यही सोचती रही कि उसने जो कुछ किया वो सही है या गलत है. रोज का काम निपटाकर अनिता घर पहुँची. आज बारिश कुछ जादा नही थी. राजु रोज की तरह १० बजे घर पर पहुँचा अनिता उसे देखकर बोली "आ गया बेटा चल जल्दी से खाना खा" राजु ने सिर्फ हा में जवाब दिया. खाना खाने के बाद अनिता उसे बोली "बेटा मुझे तुझसे कुछ बात करनी है"
राजु: हा बोलो ना माँ
अनिता: बेटा मैं कल रात के बारे में बात करना चाहती हूँ
राजु: बोलो माँ क्या बात है
अनिता: देख बेटा कल रात जो हुआ वो सब अनजाने में हुआ है आगे से मैं कभी फिर से ये सब करना नहीं चाहती
राजु: माँ मगर मुझे ये सब करके मजा आ रहा था और आपको भी तो मजा आ रहा था
अनिता: अरे तु मेरा सगा बेटा है और ये सब मै तेरे साथ नहीं कर सकती
राजु: पर क्यों माँ आप मेरे साथ क्यों नहीं कर सकती
अनिता: ये सब पाप हैं तु अभी नादान है तुझे तो ये भी नहीं पता कि हम कल रात कितना बडा पाप करने वाले थे पर शूकर है उपर वाले का ऐसा कुछ हुआ नहीं
राजु: माँ आप क्या कह रही है मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा
अनिता: बेटा तु इन सब चीजों में ध्यान मत दे
राजु: पर माँ आप मुझे ठीक से समझाओ ना प्लीज
अनिता: बेटा तु कहता है ना मेरे मम्मे देखकर तेरी नुन्नी बड़ी हो जाती है इसका मतलब ये है की तु बडा हो गया है तेरी नुन्नी को लौडा या लंड कहते है
राजु: माँ और कल मेरे नुन्नी से मतलब मेरे लौडे से जो चीपचीपा पानी गिरा वो क्या था
अनिता: बेटा उसे वीर्य कहते है उससे बच्चा पैदा होता है
राजु: माँ पर बच्चा तो शादी के बाद पैदा होता है ना
अनिता: हा बेटा पर शादी के बाद चुदाई करते हैं फिर बच्चा पैदा होता है
राजु: माँ चुदाई मतलब क्या होता है
अनिता: आदमी उसका लौडा औरत की चूत में डालकर अंदर बाहर करता है और उसका वीर्य औरत की चूत मे भर देता है उससे बच्चा पैदा होता है इस क्रिया को चुदाई कहते है
राजु: माँ फिर कल रात हमने किया वो क्या था
अनिता: बेटा उसे मुठ मारना कहते है
राजु: और आप टाँवेल में हाथ डालकर क्या कर रही थी
अनिता: कुछ नहीं
राजु: बताओ ना माँ
अनिता: चुप नहीं तो मार खाएगा
राजु: माँ आपसे एक बात पूछूँ
अनिता: पुछ
राजु:माँ चुदाई करने में बहुत मजा आता है ना
अनिता: हा पर तु तेरी शादी के बाद अपने बीवी को चोद
राजु: माँ मैं आपको नही चोद सकता
अनिता(गुस्सा दिखाते हुए): अपने माँ से भला कोई एसी बात करता है मैंने तुझे पहले ही कहा ना कि ये सब पाप है
राजु: सॅारी माँ पर मेरा लौडा फिर से बडा हो गया है
अनिता: तो मैं क्या करू
राजु: तो आप कल रात की तरह मुठ मारो ना
अनिता को गुस्सा आया और उसने राजु को एक थप्पड़ मारी और बोली "मैने तुझे पहले ही कहा है कि कल रात जो हुआ वो सब अनजाने में हुआ है आगे से मैं कभी फिर से ये सब करना नहीं चाहती" राजु कुछ बोला नहीं और रोने लगा अनिता भी कुछ बोली नही और चुपचाप उसकी जगह पर सो गई
अगले दिन सुबह दोनों एक दूसरे से बात किये बगैर ही काम पर चले गए. पूरे दिन अनिता के दिमाग में राजु का लंड और उसके साथ की हुई बाते घूम रही थी कामवासना पर काबू करना अनिता के लिए अब मुश्किल हो चुका था. आज राजु का मन काम में नही लग रहा था उसके मन मे बस चुदाई का भूत सवार था. राजु जहाँ पर काम करता था वहाँ राजु ने उसके एक दोस्त को चुदाई के बारे मैं पुछा तो उसने राजु का चुदाई के बारे मे पुरी जानकारी दी चूत मे लंड कैसे डालते है मम्मे कैसे चुसते है औरतों के मुँह में लंड कैसे देते है चूत कैसे चाटते है और मुठ कैसे मारते है ये भी बता दिया. दोस्त की बातें सुनकर राजु पुरी तरह उत्तेजित हुआ था. रोज की तरह राजु १० बजे घर पहुँचा अपने माँ से बिना कुछ बात किये उसने खाना खाया और बिस्तर डालकर सो गया अनिता भी कुछ बात नहीं कर रही थी वो भी उसकी जगह पर सो गई. रात के १२ बजे जोर से बारिश होने लगी और जहाँ राजु सोया था वहाँ छत से पानी टपकने लगा राजु के पुरे कपडे भीग गए थे अनिता ने उसकी तरफ देखा और बिना कुछ बोले ही बिस्तर पर करवट लेकर उसके लिए जगह बनाई राजु ने पूरे कपडे उतारे और टाँवेल लपेट कर अनिता के बाजु मे जाकर लेट गया. कम जगह की वजह से दोनों एक दूसरे से चिपक के लेटे थे अनिता की गांड राजु की तरफ थी राजु का लंड खडा होकर टाँवेल में तंबू बन गया था. राजु ने अनिता की तरफ करवट ली अब उसका लंड अनिता अपने गांड पर महसूस कर सकती थी. फिर राजु ने टाँवेल से उसका लंड आजाद किया और अनिता के गांड पर दबाने लगा. राजु की इस हरकत के कारण अनिता उठकर बैठ गई और उसके लंड को घुरते हुए बोली "हरामखोर मैंने कल इतना समझाया फिर भी आज तुने फिरसे ये हरकत की"
राजु(डरते हुए): माँ बस एक बार मेरी मुठ मार दो मुठ मारने में कोई पाप नहीं
अनिता: कमिने तु खुद क्यों नहीं मारता
राजु: माँ मुझे मुठ मारना आता नही आप सीखा दो ना प्लीज
अनिता: नहीं बोला ना एकबार
राजु उठता है और सीधे अनिता का हाथ पकडकर लंड पर रख देता है अनिता हाथ हटाए बिना ही राजु की तरफ गुस्से से देखती है. राजु: प्लीज माँ बस एक बार
अनिता बिना कुछ बोले ही उसके लंड को हिलाने लगती है ऐसा करने से राजु का लंड और भी बड़ा होकर ८ इंच का हो जाता है. उसके लंड को देखकर अनिता के मुँह से अपने आप सिसकारी निकाल जाती है. अनिता अब कामवासना मे पुरी तरह डूब जाती है वो भूल जाती है कि वो ये सब कुछ अपने बेटे के साथ कर रही है. अनिता अब राजु का लंड जोर जोर से हिला रही थी अनजाने में अनिता राजु का एक हाथ पकड़कर अपने चूचियों पर रख देती है राजु दुसरा हाथ भी चूचियों पर ले जाता है और जोर जोर से दबाने लगता है. अनिता मस्ती मे अपने आँखें बंद कर लेती है. अनिता एक हाथ से राजु का लंड हिला रही थी और एक हाथ से साड़ी के उपर से चूत को सहला रही थी. राजु का ध्यान अनिता के चूत सहलाते हाथ पर गया तो उसने झट से अनिता का हाथ वहाँ से हटाया और खुद के हाथ से अनिता की चूत सहलाने लगा. राजु के ऐसा करने से अनिता के शरीर में करंट दौड़ने लगा राजु के लंड पर उसकी पकड और भी मजबूत हो गई. राजु एक हाथ से उसके माँ के ब्लाउज के बटन खोलने लगा अनिता राजु को ब्लाउज खोलने मे मदद की अब अनिता की गोरी गोरी चूचियां आजाद हो गई थी. राजु एक हाथ से चूचि दबा रहा था और एक हाथ से चूत सहला रहा था. अनिता पूरे जोश में थी और सिसकियाँ ले रही थी अनिता धीरे से बोलती है "राजु बेटा मेरा दूध नहीं पीयेगा" राजु समझदार बच्चे की तरह अपनी माँ की चूचि मुँह में भर लेता है और उसे चूसने लगता हैं. अनिता उसका लंड छोड़ देती है और दोनों हाथों से उसके बाल सहलाने लगती है. राजु एक एक करके दोनों चूचियां चूस रहा था अनिता की चूत पूरी तरह से गीली हो गई थी. अनिता की चूचियां चूसने के बाद राजु अनिता को साड़ी उतारने कहता है अनिता उठ जाती है और एक झटके में साड़ी उतार देती है. राजु पहली बार उसकी माँ को पुरी तरह से नंगी देख रहा था वैसे आधी नंगी कई बार देख चुका था. राजु की नजर अनिता के बालो से भरी चूत पर पडती है वो पहली बार किसी औरत की चूत देख रहा था. राजु खड़ा हो जाता है और अनिता के चूत पर हाथ रखकर उसे पूछता है "माँ क्या इसे ही चूत कहते है"
अनिता: हा बेटा तु इसी चूत से इस दुनिया में आया है और आज तुझे इसी चूत मे तेरा लंड डालना है
राजु: पर माँ मेरा लंड अंदर कैसे जाएगा
अनिता बिस्तर पर लेट जाती है और राजु को इशारा कर के बोलती है "मेरे उपर लेट जा बेटा मैं तुझे सिखाती हूँ कैसे चुदाई करते हैं"
राजु झट से उसकी माँ के उपर लेट जाता है. अनिता उसका लंड पकड़कर अपने चूत के मुँह पर लगाती है और राजु को धीरे से धक्का लगाने को कहती है. राजु धीरे से धक्का लगता है और मे एक झटके में पूरा लंड अनिता के गीली चूत में अंदर चला जाता है. राजु को ऐसा लगता है जैसे जलती भट्टी में उसने लंड डाल दिया हो. अनिता जोर से सिसकारी लेती है आआआआआआआ स्सस्सस्सइइइस्सस्सस्सइइइइइइ पति मरने के एक साल बाद अनिता चूत मे लंड ले रही थी इसलिए उसे थोड़ा दर्द हुआ. राजु लंड अंदर डालकर वैसे ही लेटा था अनिता बोली "बेटा अब तेरा लंड धीरे धीरे अंदर बाहर कर" राजु लंड बाहर लेने जाता है तो फिसल कर उसका लंड चूत से बाहर आ जाता है अनिता फिर से उसका लंड पकड़कर चूत मे ले लेती है. राजु फिर से धक्का लगाने की कोशिश करता है फिर से उसका लंड फिसल कर बाहर आ जाता है ऐसा दो तीन बार फिर होता है तो अनिता को गुस्सा आता है और वो बोलती है "हट जा मादरचोद तु ऐसे ही तडपाता रहेगा चुदाई तेरे बस की बात नहीं है" अनिता राजु को धक्का देकर बिस्तर पर गिराती है और उसके लंड पर सवार हो जाती है. उसे ऐसा करते देख राजु बोलता है "ये क्या कर रही हो माँ" अनिता बिना कुछ बोले उसका लंड पकड़कर चूत के मुँह पर रखती है और उसपर बैठ जाती है. पच्चच्चच्च की आवाज के साथ पूरा लंड चूत में समा जाता है अनिता उसके होंठ दातों मे दबाती है और लंड पर उपर से धक्के मारने लगती है. राजु तो जैसे आसमान में था उसकी पहली चुदाई थी इसलिए उसे एक अलग ही मजा आ रहा था. अनिता आगे की तरफ झुक जाती है और राजु के मुँह में उसकी चूचियां भर देती है अनिता उसकी गांड राजु के लंड पर उपर नीचे कर रही थी. अनिता को ये करने में बहुत मजा आ रहा था पति के साथ चुदाई करते वक्त वो बहुत बार इस तरह चुद चुकी थी. अनिता ने गांड हिलाने की स्पीड अब बढ़ा दी थी. अनिता की चूत मे लंड लगादार अंदर बाहर हो रहा था राजु ने उसकी चूचियां मुँह से निकालकर दोनों हाथों से उन्हें मसल रहा था. चूत पूरी तरह गीली हो चुकी थी इसलिए जब लंड चूत मे अंदर बाहर होते समय पच्चच्चपच्चच्चपच्चच्चपच्चच्च कि आवाज पूरे रूम में गुंज रही थी. १० मिनट के बाद अनिता की कमर में दर्द होने लगता है तो वो राजु को नीचे से धक्के मारने को कहती है. राजु निचे से कमर उठाता है और धीरे धीरे चूत में धक्के मारने लगता है अनिता के चूत ने लंड पर पकड़ बना ली थी इस बार राजु का लंड फिसल कर बाहर नहीं आया. अनिता राजु को बोलती है "शाबाश बेटे और जोर से कर" राजु पूरे जोश में धक्के मारता राजु और अनिता झडने दोनों झडने के करीब थे. अनिता बस जोर जोर से सिसकियाँ लिए जा रही थी फिर राजु दो तीन झटके मारता हे और उसका फँवारा चूत में छुट जाता है अनिता भी उसके साथ साथ झड जाती है. अनिता उसके लंड के उपर से उठकर बाजु मे लेट जाती है दोनों एक दूसरे से बोलने के हालत में नही थे. दोनों एक दूसरे से बिना कुछ बोले ही सो जाते है.
अनिता तैयार होकर काम पर चली गई थी. सुबह के ९ बज रहे थे कल रात की चुदाई से राजु की हालत की खराब हो गई थी इसलिए अब तक वो बिस्तर में पड़ा आराम कर रहा था वो आज काम पर नही जाने वाला था. राजु दिन भर घर में आराम करता है. शाम ७ बजे अनिता घर आती है राजु को घर मे देख वो बोलती है "क्या हुआ बेटा आज काम पर नही गया तबीयत तो ठीक है ना"
राजु: हा माँ मुझे बहुत कमजोर महसूस हो रहा है.
अनिता (राजु के सर को हाथ लगाते हुए): अरे तुझे तो बुखार है चल बेटा डाँक्टर के पास चलते है.
राजु: नहीं माँ उसकी कोई जरूरत नही.
अनिता: जरूरत कैसे नही एक तु ही तो है मेरा इस दुनिया में अगर तुझे कुछ हो गया तो मैं जिंदा नहीं रह पाऊंगी.
राजु: माँ आप मुझसे बहुत प्यार करती है ना
अनिता: हा बेटा चल अब जल्दी से डाँक्टर के पास जाते है
फिर अनिता राजु को लेकर दवाखाने में जाती है डाँक्टर राजु को कुछ दवा देते हैं और दो दिन आराम करने के लिए कहते हैं. राजु दो दिन आराम करता है और काम पर नही जाता अनिता दो दिन उसका बहुत ख्याल रखती है. दुसरे दिन राजु बिल्कुल पहले जैसा होता है. इन दो दिनों में अनिता और राजु के बीच कुछ हुआ नही था.उसी दिन रात को ८ बजे राजु के घर के बाहर एक कार आकर रूकती है ये कार राजु जहाँ पर काम करता था वहाँ के मारवाड़ी की थी. (मारवाड़ी एक अमीर आदमी है उसका नाम सुरेश है उम्र ४५ साल ५.७ का कद शरीर थोडा मोटा है चेहरे पर बड़ी मूँछें है रंग गोरा देखते ही पता चलता था कि यह एक खान्दानी आदमी है मारवाड़ी स्वभावसे अच्छा है पर औरतों के मामले में बहुत चुदक्कड है) मारवाड़ी गाडी से उतर कर राजु के घर के दरवाजे में खडा रहकर पूछता है "क्या राजु यही रहता है" राजु मारवाड़ी की आवाज पहचान लेता है और उसके तरफ देखकर बोलता है "अरे मालिक आप यहाँ कैसे माँ देखो मेरे मालिक आये है" अनिता खाना बनाते बनाते उठकर मारवाड़ी को नमस्ते बोलती है. मारवाड़ी की नजर अनिता पर पडती है तो वो उसे उपर से नीचे तक देखता है और बोलता है "जी नमस्ते आप राजु की बहन है क्या"
अनिता(शरमाते हुए): जी नहीं मैं राजु की माँ हु.
मारवाड़ी(हासकर): आपको देखकर लगा आप राजु की बहन हो.
अनिता: अरे आप अंदर आइए ना पानी लेंगे आप.
मारवाड़ी: जी नहीं मै खाना खाकर आया हूँ.
राजु(बीच में बात काटते हुए): मालिक आज आप यहाँ कैसे.
मारवाड़ी: अरे तु दो तीन दिन से काम पर नहीं आया ना इसलिए आया हूँ.
राजु: मालिक में कल से आने वाला हूँ बीमार था दो दिन से.
मारवाड़ी: अरे भाई तेरे बिना बहुत काम अधुरा पडा है कल से पक्का आ जा अब तेरी तबीयत ठीक है ना.
राजु: हा मालिक अब बिल्कुल ठीक हूँ.
मारवाड़ी: ठीक है मैं बस यहीं कहने आया था मैं चलता हूँ अब.
राजु: ठीक है मालिक.
मारवाड़ी जाते जाते अनिता को एक बार ठीक से देख लेता है उसको देखकर हसता है अनिता भी हसती है और मारवाड़ी कार में बैठकर चला जाता है.
मारवाड़ी जाने के बाद अनिता राजु को बोलती है "तेरा मालिक भला आदमी लगता है इतने लडके दुकान पर काम करते हैं फिर भी तुझे बुलाने घर आ गया"
राजु: हा माँ मालिक बहुत अच्छे हैं.
अनिता: पता है चल अब खाना खा ले.
राजु और अनिता बैठ कर खाना खाते हैं और सोने की तैयारी करते हैं तभी जोर से बारिश होने लगती है. अनिता बोलती है "बेटा बारिश हो रही है उधर पानी टपकता है तु मेरे बगल में सो जा" राजु कपडे निकल कर कमर पर टाँवेल लपेटता है और अनिता के बगल में लेट जाता है. पूरा दिन काम करने से अनिता के बदन से पसीने की एक अलग ही खुशबू आ रही थी उस खुशबू की वजह से राजु का लंड अपने आप खडा हो जाता है राजु की दिमाग में उस रात की चुदाई आ जाती है और कुछ देर के बाद वो टाँवेल में से लंड बाहर निकालता है. अनिता को इसका कुछ अंदाजा नहीं था वो आँखें बंद कर के सोने की कोशिश कर रही थी राजु एक बार उसकी माँ को चोद चुका था इसलिए उसकी हिम्मत बढ़ चुकी थी.राजु लेटे लेटे ही उसके एक हाथ से अनिता की चूचि दबाने लगता है. अनिता जाग रही थी पर वो आँखें बंद करके सोने का नाटक कर रही थी फिर राजु एक एक करके अनिता के सारे ब्लाउज के बटन खोलकर उसकी बड़ी बड़ी चूचियां आजाद करता है और एक एक करके चूचियों को चूसने लगता है १० मिनट तक राजु दोनों चूचियां चूसता है अनिता ने अब तक आँखें नहीं खोलीं थी राजु को लगता है माँ गहरी नींद में है. राजु उठकर अनिता के पैरों के पास जाता है और धीरे धीरे अनिता की साड़ी झाँगों तक उपर कर देता है और अनिता की टाँगे फैलाकर बीच जाकर बैठ जाता है. अब अनिता की फूलीं हुई चूत राजु के सामने थी चूत कि खुशबू पूरे रूम में फैल गई थी राजु उसकी एक उंगली चूत मे डाल देता है चूत गीली होने की वजह से पूरी उंगली अंदर चली जाती है अब राजु उंगली चूत में अंदर बाहर करने लगता है. अनिता बस आँखें बंद करके मजा ले रही थी राजु लंड का लंड पूरे जोश में था राजु चूत से उंगली निकालकर उसका लंड चूत पर रख देता है और एक धक्के में पुरा लंड चूत में डाल देता है अनिता के मुँह से जोर से स्सस्सस्सस्सइइइइ स्सस्सस्सस्सइइइइ ऐसी आवाज आती है राजु को पता चलता है माँ जाग रही है पर उसने अभी तक आँखें खोली नहीं थी. फिर राजु दुसरा धक्का देने की कोशिश करता है तो उसका लंड फिसल कर बाहर आ जाता है ऐसा होने से अनिता बहुत गुस्सा होती है और एक हाथ से राजु का लंड पकड़कर चूत में भर लेती है और उसकी टाँगे राजु के कमर पर लपेट देती है ऐसा करने से राजु का लंड चूत में फस जाता है अनिता अब आँखें खोल देती है और उसके होंठ दातों में दबा कर राजु को कहती है "मेरा राजा अब धीरे धीरे तेरा लौडा अंदर बाहर कर" राजु अब धीरे धीरे लंड अंदर बाहर करने लगता है अनिता भी निचे से कमर हिला के लंड को अंदर ले रही थी और आनंद से बडबडा रही थी "चोदो मेरे लाल, मेरे राजा, चोदो आज अपनी चुदासी माँ को कई दिनों से भूखी है तुम्हारी माँ आज सारी भूख मिटा दो" राजु बिना कुछ बोले चूत में धक्के लगा रहा था. अनिता के मुँह से जोरदार सिसकियाँ निकलने लगी और उसके बदन में जोर से सिहरन हो जाती है और अनिता झड जाती है. ५-६ धक्के लगाके राजु भी अपनी माँ की चूत में झड जाता है राजु अपनी माँ की चूत में लंड डाले हुए उसके ऊपर पड़ा रहता है अनिता को बड़ा आश्चर्य हुआ कि झड़ने के बाद भी राजु का लंड पूरा ढीला नही हुआ. फिर अनिता राजु को उसके उपर से हटाती है और साड़ी ठीक करके सो जाती है. राजु वैसे ही नंगा सो जाता है.
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कभी चूत कभी सूखा--1
पति का स्वर्गवास होने के बाद अनिता काफी अकेली पड गई थी उसका बेटा राजु अभी सिर्फ १५ साल का था पति जिंदा था तब वो मजदूरी करके परिवार का गुजारा करता था. शहर मे उनका कोई रिश्तेदार भी नही था. इसलिए अब खुद का और अपने बेटे का गुजारा करने के लिए अनिता खुद ही काम करने लगी. लोगों के घर में बर्तन और कपड़े धोने का काम करके वो खुद का और उसके बेटे का गुजारा कर रही थी अनिता कि उम्र कुछ ३६-३७ के आसपास थी इसलिए उसे ये काम करना कोई मुश्किल बात नहीं थी भरी जवानी में बिचारी का पती मर गया था. अनिता दिखने में खूबसूरत थी ५.५ कि कद गोरा रंग लंबे बाल कजरारी आँखें चेहरे पर कोई डाग नही शरीर पर भी कहीं मोटापा नही था उसके के मम्मे और गांड लोगों को बहुत आकर्षित करती थी दिखने में वो कुछ कुछ श्रीदेवी कि तरह दिखती थी उसे देखकर कोई भी उसके उम्र का सही अंदाजा नहीं लगा सकता था. उसका बेटा राजु पढ़ाई में बहुत तेज था इसी साल वो दसवीं कक्षा में ७२% से उत्तीर्ण हुआ था आगे की पढ़ाई करने के लिए माँ के पास पैसे नही है ये बात राजु अच्छी तरह से जानता था इसलिए आगे पढ़ने की जगह उसने काम करके माँ को मदद करने का फैसला किया वैसे राजु बहुत समझदार लडका था. वो बिलकुल अपनी माँ पर गया था राजु काफी कसरती शरीर का मालिक था. ५.८ कि कद गोरा रंग चेहरे पर कहीं कोई डाग नही सिर्फ हलकी मूँछें थी राजु एक गबरू जवान लडका था. राजु एक मारवाड़ी के दुकान में हेल्पर का काम करता था पढ़ा लिखा होने के कारण राजु हिसाब भी अच्छा कर लेता था उसके काम से दुकान का मालिक उसपर बहुत खुश था.
अनिता और राजु दोनों किराये के सिंगल रुम मे रहते थे रुम में नहाने के लिए बाथरुम भी ढंग का नही था अनिता रोज सुबह जल्दी उठकर नहाती थी कभी कभी राजु भी नहाते वक्त उसकी माँ को आधी नंगी देख लेता था पर राजु को इसकी आदत थी. गरमी के दिनों में तो अनिता रात को ब्लाउज निकालकर आधी नंगी ही सोती थी गरिबी कि वजह से वो ब्रा नही पहनती थी.
अब राजु बडा हो गया था उसने अब तक कभी मुठ नही मारी थी उसे सेक्स के बारे मे कुछ जादा मालुम नही था. राजु जब उसकी आधी नंगी माँ को देखता तो उसका लंड अपने आप खडा हो जाता था उसका खडा लंड उसकी माँ के नजरों से बचता नहीं था वो उसके खडे लंड को घुरती और अनदेखा कर देती. अनिता को कभी कभी पति के साथ कि चुदाई याद आती तो वो रात को राजु सोने के बाद चुत की आग को उंगलियों से शांत करती थी. अनिता को राजु को उसकी चूचियां दिखाना अच्छा लगने लगा था वो उसके सामने ही नहाती कपड़े बदलती. राजु भी अपनी माँ की चूचियां घुर घुर के देखता था.
एक दिन कि बात है उस वक्त बारिश के दिन चल रहे थे बारिश रुकने का नाम नहीं ले रही थी अनिता के पास छत्री नहीं थी इसलिए वो भीगते भीगते घर पर चली गई घर जाने के बाद उसने साड़ी उतार दी. घर कि छत से पानी अंदर घुसने कि वजह से अनिता और उसके बेटे के सारे कपडे गीले हो गये थे अब उसके पास पहनने के लिए दुसरी साड़ी भी नहीं थी अनिता ने टाँवेल लिया और उसे लूंगी कि तरह कमर पर लपेट दिया उसकी चूचियां नंगी थी अनिता ने वैसे ही आधी नंगी अवस्था में रात का खाना बनाया और राजु का इंतजार करने लगी. बारिश अबतक नहीं रुकी थी करीब रात के १० बजे राजु घर आ गया राजु भी पुरी तरह भीग चुका था राजु के सामने उसकी माँ आधी नंगी खड़ी थी पर उसके लिए ये नया नहीं था. राजु को देखकर अनिता बोली "अरे तु तो पुरा भीग गया है जल्दी से कपड़े उतार नही तो सर्दी लग जाएगी"
राजु: ठीक हैं माँ पर तुने साड़ी क्यों नहीं पहनी
अनिता: छत से पानी अंदर घुस गया और सारे कपडे गीले हो गये हैं तु भी टाँवेल लपेट ले
राजु ने अपने कपड़े उतार दिए पर उसने अंडरवेअर अभी तक नहीं उतारा था
अनिता: राजु अंडरवेअर भी उतार दे नही तो वहां अलरजी हो जाएगी
राजु: माँ अलरजी नहीं अॅलर्जी
अनिता: हा वही होगा चल अब उतार इसे भी
राजु ने अंडरवेअर उतार दी अब वो उसकी माँ के सामने पुरा नंगा खड़ा था उसकी माँ बार बार उसके लंड को घुर रही थी उसका लंड सोया हुआ था फिर भी काफ़ी बडा लग रहा था
राजु: माँ ऐसे क्या देख रही हो मुझे थंड लग रही हैं टाँवेल दो ना जल्दी
अनिता: ये ले तेरा टाँवेल
राजु ने कमर पर टाँवेल लपेट लिया और उसका लंड टाँवेल में छुप गया फिर अनिता और राजु ने खाना खाया राजु बार बार अनिता की चूचियों को घुर रहा था अनिता भी तिरछी नजरों से उसके लंड को घुर रही थी.
राजु: माँ यहा पर पानी टपक रहा है मैं कहाँ पर सोउ
अनिता: मेरे साथ सो जा इस तरफ पानी नहीं टपक रहा और तेरी चद्दर भी गीली हो गई है हम दोनों एक ही चद्दर मे सोते है
राजु: ठीक है माँ
अनिता ने बिस्तर लगाया और दोनों बिस्तर पर लेट गए कम जगह की वजह से दोनों माँ बेटे एक दूसरे से चिपक के लेटे थे राजु बार बार उसकी माँ की चूचियां देख रहा था उसे इस तरह देखकर अनिता बोली "ऐसे क्या देख रहा है बेटा"
राजु अनिता के चूचियो की तरफ इशारा करके बोला "माँ बचपन में इधर से दूध पीता था ना"
अनिता: हा बेटा
राजु: माँ क्या अब भी यहां से दूध आता हैं
अनिता: नही बेटा जब बच्चा पैदा होता है तभी यहां से दूध आता हैं पता है तु ७ साल का होने तक मेरा दूध पीता था
राजु: तब तक आपके मम्मो से दूध आता था
अनिता: नही आता था पर तु बहुत जिद्द करता था तेरे पिताजी भी कहते थे पीता है तो पीने दे
राजु: माँ पिताजी हमसे बहुत प्यार करते थे ना
अनिता: हा अगर वो जिंदा होते तो तुझे कभी काम नही करने देते
राजु: माँ मैं जब आपके मम्मे देखता हूँ तो मुझे कुछ कुछ होने लगता है
अनिता: क्या होता है बेटा
राजु: माँ मेरी नुन्नी का आकार बडा होता है
अनिता: मुझे दिखा कैसा होता है
राजु अपना टाँवेल हटाता है और उसका ७ इंच लंबा लंड उसकी माँ को सलामी देता है अनिता ने अपने पति के बाद अपने बेटे का लंड देख रही थी. अनिता लंड देख के बोली "राजु तु तो बडा हो गया है तेरा तेरे पिताजी के इतना बड़ा हो गया है" अनिता ने धीरे से उसका लंड अपने मुठ्ठी में पकड़ लिया उसकी इस हरकत से राजु के मुँह से सिसकारी निकल गई.अनिता ने झटसे उसका लंड छोड़ दिया और बोली "क्या हुआ बेटा"
राजु: माँ फिरसे पकड़ो ना मजा आ रहा है
अनिता: बेटा ये गलत बात है रे काम अपने पत्नी के साथ करते हैं
राजु: माँ सिर्फ एक बार पकड़ो ना प्लीज
अनिता ने फिर से उसका लंड मुठ्ठी में पकड़ा एक दो बार मुठ्ठी आगे पीछे की और रुक गई पर इसबार उसने लंड छोड़ा नही मुठ्ठी में पकड़ रखा था.
राजु: माँ रुको मत फिर से करो ना प्लीज
अनिता ने फिर से लंड हिलाने को सुरुवात कि राजु का मुठ मारने का ये पहला अनुभव था और उसकी माँ उस की मुठ मार रही थी इसलिए उसका मजा दोगुना बढ़ गया था राजु लगादार सिसकियाँ ले रहा था अनिता एक हाथ से लंड हिला रही थी और एक हाथ टाँवेल के अंदर डालकर चुत को सहला रही थी अनिता भी सिसकियाँ ले रही थी. अब लंड हिलाने की स्पीड अनिता ने बढ़ा दी थी और चुत मे दो उंगलियां डालकर अंदर बाहर कर रही थी दोनों की सिसकियो से पुरा रूम गुंज रहा था. राजु का ये पहली बार था इसलिए वो जादा देर तक संभाल नहीं पाया उसके लंड से वीर्य की ५-६ पिचकारी छूटी कुछ वीर्य उसके चूचियों पर जाके गिरा और बचा हुआ अनिता के हाथ में लगा था. राजु बुरी तरह से हांफ रहा था उसकी साँसें तेज चल रही थी. अनिता का पानी अबतक गिरा नहीं था इसलिए वो चुत मे उंगली अंदर बाहर करने लगी. राजु के वीर्य से भरा भरा हाथ वो चाटने लगी और फुल स्पीड मे चुत मे उंगलियां डालने लगी अगले २ मिनट में ही उसका भी पानी गिर गया उसके पानी से पुरा टाँवेल गीला हो चुका था. दोनों शांति से बिस्तर पर पडे थे. अनिता के एक हाथ राजु के वीर्य से भर चुका था और एक हाथ पे उसकी चुत की पानी से. राजु आँखें फाड कर अनिता की तरफ देख रहा था. दोनों इस खेल से बहुत थक चुके थे इसलिए एक दूसरे से कुछ कहे बिना ही सो गए.
दूसरे दिन सुबह ७ बजे जब अनिता की निंद खुली तो उसे बाजु सोया हुआ राजु दिखाई दिया. उसकी नजर राजु के लंड पर पड़ी तो उसे रात की बाद याद आ गई अनिता ने उसके लंड पे टाँवेल डाला और जल्दी से नहाकर तैयार होकर काम के लिए चली गयी. ८ बजे राजु उठा वो भी नहा के काम पर चला गया. अनिता दिन भर यही सोचती रही कि उसने जो कुछ किया वो सही है या गलत है. रोज का काम निपटाकर अनिता घर पहुँची. आज बारिश कुछ जादा नही थी. राजु रोज की तरह १० बजे घर पर पहुँचा अनिता उसे देखकर बोली "आ गया बेटा चल जल्दी से खाना खा" राजु ने सिर्फ हा में जवाब दिया. खाना खाने के बाद अनिता उसे बोली "बेटा मुझे तुझसे कुछ बात करनी है"
राजु: हा बोलो ना माँ
अनिता: बेटा मैं कल रात के बारे में बात करना चाहती हूँ
राजु: बोलो माँ क्या बात है
अनिता: देख बेटा कल रात जो हुआ वो सब अनजाने में हुआ है आगे से मैं कभी फिर से ये सब करना नहीं चाहती
राजु: माँ मगर मुझे ये सब करके मजा आ रहा था और आपको भी तो मजा आ रहा था
अनिता: अरे तु मेरा सगा बेटा है और ये सब मै तेरे साथ नहीं कर सकती
राजु: पर क्यों माँ आप मेरे साथ क्यों नहीं कर सकती
अनिता: ये सब पाप हैं तु अभी नादान है तुझे तो ये भी नहीं पता कि हम कल रात कितना बडा पाप करने वाले थे पर शूकर है उपर वाले का ऐसा कुछ हुआ नहीं
राजु: माँ आप क्या कह रही है मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा
अनिता: बेटा तु इन सब चीजों में ध्यान मत दे
राजु: पर माँ आप मुझे ठीक से समझाओ ना प्लीज
अनिता: बेटा तु कहता है ना मेरे मम्मे देखकर तेरी नुन्नी बड़ी हो जाती है इसका मतलब ये है की तु बडा हो गया है तेरी नुन्नी को लौडा या लंड कहते है
राजु: माँ और कल मेरे नुन्नी से मतलब मेरे लौडे से जो चीपचीपा पानी गिरा वो क्या था
अनिता: बेटा उसे वीर्य कहते है उससे बच्चा पैदा होता है
राजु: माँ पर बच्चा तो शादी के बाद पैदा होता है ना
अनिता: हा बेटा पर शादी के बाद चुदाई करते हैं फिर बच्चा पैदा होता है
राजु: माँ चुदाई मतलब क्या होता है
अनिता: आदमी उसका लौडा औरत की चूत में डालकर अंदर बाहर करता है और उसका वीर्य औरत की चूत मे भर देता है उससे बच्चा पैदा होता है इस क्रिया को चुदाई कहते है
राजु: माँ फिर कल रात हमने किया वो क्या था
अनिता: बेटा उसे मुठ मारना कहते है
राजु: और आप टाँवेल में हाथ डालकर क्या कर रही थी
अनिता: कुछ नहीं
राजु: बताओ ना माँ
अनिता: चुप नहीं तो मार खाएगा
राजु: माँ आपसे एक बात पूछूँ
अनिता: पुछ
राजु:माँ चुदाई करने में बहुत मजा आता है ना
अनिता: हा पर तु तेरी शादी के बाद अपने बीवी को चोद
राजु: माँ मैं आपको नही चोद सकता
अनिता(गुस्सा दिखाते हुए): अपने माँ से भला कोई एसी बात करता है मैंने तुझे पहले ही कहा ना कि ये सब पाप है
राजु: सॅारी माँ पर मेरा लौडा फिर से बडा हो गया है
अनिता: तो मैं क्या करू
राजु: तो आप कल रात की तरह मुठ मारो ना
अनिता को गुस्सा आया और उसने राजु को एक थप्पड़ मारी और बोली "मैने तुझे पहले ही कहा है कि कल रात जो हुआ वो सब अनजाने में हुआ है आगे से मैं कभी फिर से ये सब करना नहीं चाहती" राजु कुछ बोला नहीं और रोने लगा अनिता भी कुछ बोली नही और चुपचाप उसकी जगह पर सो गई
अगले दिन सुबह दोनों एक दूसरे से बात किये बगैर ही काम पर चले गए. पूरे दिन अनिता के दिमाग में राजु का लंड और उसके साथ की हुई बाते घूम रही थी कामवासना पर काबू करना अनिता के लिए अब मुश्किल हो चुका था. आज राजु का मन काम में नही लग रहा था उसके मन मे बस चुदाई का भूत सवार था. राजु जहाँ पर काम करता था वहाँ राजु ने उसके एक दोस्त को चुदाई के बारे मैं पुछा तो उसने राजु का चुदाई के बारे मे पुरी जानकारी दी चूत मे लंड कैसे डालते है मम्मे कैसे चुसते है औरतों के मुँह में लंड कैसे देते है चूत कैसे चाटते है और मुठ कैसे मारते है ये भी बता दिया. दोस्त की बातें सुनकर राजु पुरी तरह उत्तेजित हुआ था. रोज की तरह राजु १० बजे घर पहुँचा अपने माँ से बिना कुछ बात किये उसने खाना खाया और बिस्तर डालकर सो गया अनिता भी कुछ बात नहीं कर रही थी वो भी उसकी जगह पर सो गई. रात के १२ बजे जोर से बारिश होने लगी और जहाँ राजु सोया था वहाँ छत से पानी टपकने लगा राजु के पुरे कपडे भीग गए थे अनिता ने उसकी तरफ देखा और बिना कुछ बोले ही बिस्तर पर करवट लेकर उसके लिए जगह बनाई राजु ने पूरे कपडे उतारे और टाँवेल लपेट कर अनिता के बाजु मे जाकर लेट गया. कम जगह की वजह से दोनों एक दूसरे से चिपक के लेटे थे अनिता की गांड राजु की तरफ थी राजु का लंड खडा होकर टाँवेल में तंबू बन गया था. राजु ने अनिता की तरफ करवट ली अब उसका लंड अनिता अपने गांड पर महसूस कर सकती थी. फिर राजु ने टाँवेल से उसका लंड आजाद किया और अनिता के गांड पर दबाने लगा. राजु की इस हरकत के कारण अनिता उठकर बैठ गई और उसके लंड को घुरते हुए बोली "हरामखोर मैंने कल इतना समझाया फिर भी आज तुने फिरसे ये हरकत की"
राजु(डरते हुए): माँ बस एक बार मेरी मुठ मार दो मुठ मारने में कोई पाप नहीं
अनिता: कमिने तु खुद क्यों नहीं मारता
राजु: माँ मुझे मुठ मारना आता नही आप सीखा दो ना प्लीज
अनिता: नहीं बोला ना एकबार
राजु उठता है और सीधे अनिता का हाथ पकडकर लंड पर रख देता है अनिता हाथ हटाए बिना ही राजु की तरफ गुस्से से देखती है. राजु: प्लीज माँ बस एक बार
अनिता बिना कुछ बोले ही उसके लंड को हिलाने लगती है ऐसा करने से राजु का लंड और भी बड़ा होकर ८ इंच का हो जाता है. उसके लंड को देखकर अनिता के मुँह से अपने आप सिसकारी निकाल जाती है. अनिता अब कामवासना मे पुरी तरह डूब जाती है वो भूल जाती है कि वो ये सब कुछ अपने बेटे के साथ कर रही है. अनिता अब राजु का लंड जोर जोर से हिला रही थी अनजाने में अनिता राजु का एक हाथ पकड़कर अपने चूचियों पर रख देती है राजु दुसरा हाथ भी चूचियों पर ले जाता है और जोर जोर से दबाने लगता है. अनिता मस्ती मे अपने आँखें बंद कर लेती है. अनिता एक हाथ से राजु का लंड हिला रही थी और एक हाथ से साड़ी के उपर से चूत को सहला रही थी. राजु का ध्यान अनिता के चूत सहलाते हाथ पर गया तो उसने झट से अनिता का हाथ वहाँ से हटाया और खुद के हाथ से अनिता की चूत सहलाने लगा. राजु के ऐसा करने से अनिता के शरीर में करंट दौड़ने लगा राजु के लंड पर उसकी पकड और भी मजबूत हो गई. राजु एक हाथ से उसके माँ के ब्लाउज के बटन खोलने लगा अनिता राजु को ब्लाउज खोलने मे मदद की अब अनिता की गोरी गोरी चूचियां आजाद हो गई थी. राजु एक हाथ से चूचि दबा रहा था और एक हाथ से चूत सहला रहा था. अनिता पूरे जोश में थी और सिसकियाँ ले रही थी अनिता धीरे से बोलती है "राजु बेटा मेरा दूध नहीं पीयेगा" राजु समझदार बच्चे की तरह अपनी माँ की चूचि मुँह में भर लेता है और उसे चूसने लगता हैं. अनिता उसका लंड छोड़ देती है और दोनों हाथों से उसके बाल सहलाने लगती है. राजु एक एक करके दोनों चूचियां चूस रहा था अनिता की चूत पूरी तरह से गीली हो गई थी. अनिता की चूचियां चूसने के बाद राजु अनिता को साड़ी उतारने कहता है अनिता उठ जाती है और एक झटके में साड़ी उतार देती है. राजु पहली बार उसकी माँ को पुरी तरह से नंगी देख रहा था वैसे आधी नंगी कई बार देख चुका था. राजु की नजर अनिता के बालो से भरी चूत पर पडती है वो पहली बार किसी औरत की चूत देख रहा था. राजु खड़ा हो जाता है और अनिता के चूत पर हाथ रखकर उसे पूछता है "माँ क्या इसे ही चूत कहते है"
अनिता: हा बेटा तु इसी चूत से इस दुनिया में आया है और आज तुझे इसी चूत मे तेरा लंड डालना है
राजु: पर माँ मेरा लंड अंदर कैसे जाएगा
अनिता बिस्तर पर लेट जाती है और राजु को इशारा कर के बोलती है "मेरे उपर लेट जा बेटा मैं तुझे सिखाती हूँ कैसे चुदाई करते हैं"
राजु झट से उसकी माँ के उपर लेट जाता है. अनिता उसका लंड पकड़कर अपने चूत के मुँह पर लगाती है और राजु को धीरे से धक्का लगाने को कहती है. राजु धीरे से धक्का लगता है और मे एक झटके में पूरा लंड अनिता के गीली चूत में अंदर चला जाता है. राजु को ऐसा लगता है जैसे जलती भट्टी में उसने लंड डाल दिया हो. अनिता जोर से सिसकारी लेती है आआआआआआआ स्सस्सस्सइइइस्सस्सस्सइइइइइइ पति मरने के एक साल बाद अनिता चूत मे लंड ले रही थी इसलिए उसे थोड़ा दर्द हुआ. राजु लंड अंदर डालकर वैसे ही लेटा था अनिता बोली "बेटा अब तेरा लंड धीरे धीरे अंदर बाहर कर" राजु लंड बाहर लेने जाता है तो फिसल कर उसका लंड चूत से बाहर आ जाता है अनिता फिर से उसका लंड पकड़कर चूत मे ले लेती है. राजु फिर से धक्का लगाने की कोशिश करता है फिर से उसका लंड फिसल कर बाहर आ जाता है ऐसा दो तीन बार फिर होता है तो अनिता को गुस्सा आता है और वो बोलती है "हट जा मादरचोद तु ऐसे ही तडपाता रहेगा चुदाई तेरे बस की बात नहीं है" अनिता राजु को धक्का देकर बिस्तर पर गिराती है और उसके लंड पर सवार हो जाती है. उसे ऐसा करते देख राजु बोलता है "ये क्या कर रही हो माँ" अनिता बिना कुछ बोले उसका लंड पकड़कर चूत के मुँह पर रखती है और उसपर बैठ जाती है. पच्चच्चच्च की आवाज के साथ पूरा लंड चूत में समा जाता है अनिता उसके होंठ दातों मे दबाती है और लंड पर उपर से धक्के मारने लगती है. राजु तो जैसे आसमान में था उसकी पहली चुदाई थी इसलिए उसे एक अलग ही मजा आ रहा था. अनिता आगे की तरफ झुक जाती है और राजु के मुँह में उसकी चूचियां भर देती है अनिता उसकी गांड राजु के लंड पर उपर नीचे कर रही थी. अनिता को ये करने में बहुत मजा आ रहा था पति के साथ चुदाई करते वक्त वो बहुत बार इस तरह चुद चुकी थी. अनिता ने गांड हिलाने की स्पीड अब बढ़ा दी थी. अनिता की चूत मे लंड लगादार अंदर बाहर हो रहा था राजु ने उसकी चूचियां मुँह से निकालकर दोनों हाथों से उन्हें मसल रहा था. चूत पूरी तरह गीली हो चुकी थी इसलिए जब लंड चूत मे अंदर बाहर होते समय पच्चच्चपच्चच्चपच्चच्चपच्चच्च कि आवाज पूरे रूम में गुंज रही थी. १० मिनट के बाद अनिता की कमर में दर्द होने लगता है तो वो राजु को नीचे से धक्के मारने को कहती है. राजु निचे से कमर उठाता है और धीरे धीरे चूत में धक्के मारने लगता है अनिता के चूत ने लंड पर पकड़ बना ली थी इस बार राजु का लंड फिसल कर बाहर नहीं आया. अनिता राजु को बोलती है "शाबाश बेटे और जोर से कर" राजु पूरे जोश में धक्के मारता राजु और अनिता झडने दोनों झडने के करीब थे. अनिता बस जोर जोर से सिसकियाँ लिए जा रही थी फिर राजु दो तीन झटके मारता हे और उसका फँवारा चूत में छुट जाता है अनिता भी उसके साथ साथ झड जाती है. अनिता उसके लंड के उपर से उठकर बाजु मे लेट जाती है दोनों एक दूसरे से बोलने के हालत में नही थे. दोनों एक दूसरे से बिना कुछ बोले ही सो जाते है.
अनिता तैयार होकर काम पर चली गई थी. सुबह के ९ बज रहे थे कल रात की चुदाई से राजु की हालत की खराब हो गई थी इसलिए अब तक वो बिस्तर में पड़ा आराम कर रहा था वो आज काम पर नही जाने वाला था. राजु दिन भर घर में आराम करता है. शाम ७ बजे अनिता घर आती है राजु को घर मे देख वो बोलती है "क्या हुआ बेटा आज काम पर नही गया तबीयत तो ठीक है ना"
राजु: हा माँ मुझे बहुत कमजोर महसूस हो रहा है.
अनिता (राजु के सर को हाथ लगाते हुए): अरे तुझे तो बुखार है चल बेटा डाँक्टर के पास चलते है.
राजु: नहीं माँ उसकी कोई जरूरत नही.
अनिता: जरूरत कैसे नही एक तु ही तो है मेरा इस दुनिया में अगर तुझे कुछ हो गया तो मैं जिंदा नहीं रह पाऊंगी.
राजु: माँ आप मुझसे बहुत प्यार करती है ना
अनिता: हा बेटा चल अब जल्दी से डाँक्टर के पास जाते है
फिर अनिता राजु को लेकर दवाखाने में जाती है डाँक्टर राजु को कुछ दवा देते हैं और दो दिन आराम करने के लिए कहते हैं. राजु दो दिन आराम करता है और काम पर नही जाता अनिता दो दिन उसका बहुत ख्याल रखती है. दुसरे दिन राजु बिल्कुल पहले जैसा होता है. इन दो दिनों में अनिता और राजु के बीच कुछ हुआ नही था.उसी दिन रात को ८ बजे राजु के घर के बाहर एक कार आकर रूकती है ये कार राजु जहाँ पर काम करता था वहाँ के मारवाड़ी की थी. (मारवाड़ी एक अमीर आदमी है उसका नाम सुरेश है उम्र ४५ साल ५.७ का कद शरीर थोडा मोटा है चेहरे पर बड़ी मूँछें है रंग गोरा देखते ही पता चलता था कि यह एक खान्दानी आदमी है मारवाड़ी स्वभावसे अच्छा है पर औरतों के मामले में बहुत चुदक्कड है) मारवाड़ी गाडी से उतर कर राजु के घर के दरवाजे में खडा रहकर पूछता है "क्या राजु यही रहता है" राजु मारवाड़ी की आवाज पहचान लेता है और उसके तरफ देखकर बोलता है "अरे मालिक आप यहाँ कैसे माँ देखो मेरे मालिक आये है" अनिता खाना बनाते बनाते उठकर मारवाड़ी को नमस्ते बोलती है. मारवाड़ी की नजर अनिता पर पडती है तो वो उसे उपर से नीचे तक देखता है और बोलता है "जी नमस्ते आप राजु की बहन है क्या"
अनिता(शरमाते हुए): जी नहीं मैं राजु की माँ हु.
मारवाड़ी(हासकर): आपको देखकर लगा आप राजु की बहन हो.
अनिता: अरे आप अंदर आइए ना पानी लेंगे आप.
मारवाड़ी: जी नहीं मै खाना खाकर आया हूँ.
राजु(बीच में बात काटते हुए): मालिक आज आप यहाँ कैसे.
मारवाड़ी: अरे तु दो तीन दिन से काम पर नहीं आया ना इसलिए आया हूँ.
राजु: मालिक में कल से आने वाला हूँ बीमार था दो दिन से.
मारवाड़ी: अरे भाई तेरे बिना बहुत काम अधुरा पडा है कल से पक्का आ जा अब तेरी तबीयत ठीक है ना.
राजु: हा मालिक अब बिल्कुल ठीक हूँ.
मारवाड़ी: ठीक है मैं बस यहीं कहने आया था मैं चलता हूँ अब.
राजु: ठीक है मालिक.
मारवाड़ी जाते जाते अनिता को एक बार ठीक से देख लेता है उसको देखकर हसता है अनिता भी हसती है और मारवाड़ी कार में बैठकर चला जाता है.
मारवाड़ी जाने के बाद अनिता राजु को बोलती है "तेरा मालिक भला आदमी लगता है इतने लडके दुकान पर काम करते हैं फिर भी तुझे बुलाने घर आ गया"
राजु: हा माँ मालिक बहुत अच्छे हैं.
अनिता: पता है चल अब खाना खा ले.
राजु और अनिता बैठ कर खाना खाते हैं और सोने की तैयारी करते हैं तभी जोर से बारिश होने लगती है. अनिता बोलती है "बेटा बारिश हो रही है उधर पानी टपकता है तु मेरे बगल में सो जा" राजु कपडे निकल कर कमर पर टाँवेल लपेटता है और अनिता के बगल में लेट जाता है. पूरा दिन काम करने से अनिता के बदन से पसीने की एक अलग ही खुशबू आ रही थी उस खुशबू की वजह से राजु का लंड अपने आप खडा हो जाता है राजु की दिमाग में उस रात की चुदाई आ जाती है और कुछ देर के बाद वो टाँवेल में से लंड बाहर निकालता है. अनिता को इसका कुछ अंदाजा नहीं था वो आँखें बंद कर के सोने की कोशिश कर रही थी राजु एक बार उसकी माँ को चोद चुका था इसलिए उसकी हिम्मत बढ़ चुकी थी.राजु लेटे लेटे ही उसके एक हाथ से अनिता की चूचि दबाने लगता है. अनिता जाग रही थी पर वो आँखें बंद करके सोने का नाटक कर रही थी फिर राजु एक एक करके अनिता के सारे ब्लाउज के बटन खोलकर उसकी बड़ी बड़ी चूचियां आजाद करता है और एक एक करके चूचियों को चूसने लगता है १० मिनट तक राजु दोनों चूचियां चूसता है अनिता ने अब तक आँखें नहीं खोलीं थी राजु को लगता है माँ गहरी नींद में है. राजु उठकर अनिता के पैरों के पास जाता है और धीरे धीरे अनिता की साड़ी झाँगों तक उपर कर देता है और अनिता की टाँगे फैलाकर बीच जाकर बैठ जाता है. अब अनिता की फूलीं हुई चूत राजु के सामने थी चूत कि खुशबू पूरे रूम में फैल गई थी राजु उसकी एक उंगली चूत मे डाल देता है चूत गीली होने की वजह से पूरी उंगली अंदर चली जाती है अब राजु उंगली चूत में अंदर बाहर करने लगता है. अनिता बस आँखें बंद करके मजा ले रही थी राजु लंड का लंड पूरे जोश में था राजु चूत से उंगली निकालकर उसका लंड चूत पर रख देता है और एक धक्के में पुरा लंड चूत में डाल देता है अनिता के मुँह से जोर से स्सस्सस्सस्सइइइइ स्सस्सस्सस्सइइइइ ऐसी आवाज आती है राजु को पता चलता है माँ जाग रही है पर उसने अभी तक आँखें खोली नहीं थी. फिर राजु दुसरा धक्का देने की कोशिश करता है तो उसका लंड फिसल कर बाहर आ जाता है ऐसा होने से अनिता बहुत गुस्सा होती है और एक हाथ से राजु का लंड पकड़कर चूत में भर लेती है और उसकी टाँगे राजु के कमर पर लपेट देती है ऐसा करने से राजु का लंड चूत में फस जाता है अनिता अब आँखें खोल देती है और उसके होंठ दातों में दबा कर राजु को कहती है "मेरा राजा अब धीरे धीरे तेरा लौडा अंदर बाहर कर" राजु अब धीरे धीरे लंड अंदर बाहर करने लगता है अनिता भी निचे से कमर हिला के लंड को अंदर ले रही थी और आनंद से बडबडा रही थी "चोदो मेरे लाल, मेरे राजा, चोदो आज अपनी चुदासी माँ को कई दिनों से भूखी है तुम्हारी माँ आज सारी भूख मिटा दो" राजु बिना कुछ बोले चूत में धक्के लगा रहा था. अनिता के मुँह से जोरदार सिसकियाँ निकलने लगी और उसके बदन में जोर से सिहरन हो जाती है और अनिता झड जाती है. ५-६ धक्के लगाके राजु भी अपनी माँ की चूत में झड जाता है राजु अपनी माँ की चूत में लंड डाले हुए उसके ऊपर पड़ा रहता है अनिता को बड़ा आश्चर्य हुआ कि झड़ने के बाद भी राजु का लंड पूरा ढीला नही हुआ. फिर अनिता राजु को उसके उपर से हटाती है और साड़ी ठीक करके सो जाती है. राजु वैसे ही नंगा सो जाता है.
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